मेरठ में स्टांप घोटाले के आरोपी अक्षय गुप्ता का अब जमानत घोटाला सामने आया है। जब आरोपी अक्षय गुप्ता ने फर्जी जमानती दिखाकर अपनी जमानत कराने के कागजात कोर्ट में सबमिट करवा दिए। गनीमत रही कि जमानत के आदेशों से पहले ही अक्षय गुप्ता का सच सामने आ गया। जमानत नहीं हो पाई। पुलिस ने पूरा फर्जीवाड़ा सामने आने के बाद 8 लोगों के खिलाफ मेरठ के सिविल लाइन थाने में मुकदमा दर्ज किया है। वहीं मुख्य आरोपी अक्षय गुप्ता को अरेस्ट कर लिया है। बुधवार को एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह ने प्रेसवार्ता में पूरे मामले का खुलासा किया। सीजेएम कोर्ट में लगाई थी फाइल एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह ने सिविल लाइन थाने में 2024 स्टांप घोटाले का मामला सामने आया था। बताया कि अक्षय गुप्ता के खिलाफ 2024 में मेरठ के विभिन्न थानों में स्टांप घोटाला करने के आरोप में मुकदमा दर्ज है। इसमें एक आरोपी था अक्षय गुप्ता जेल चला गया। जेल में रहने के दौरान उसने फर्जी जमानती खड़े किए, फर्जी जमानती लगाए। जब उन जमानतियों की जांच की गई तो जांच में वो सभी फर्जी निकले। सीजेएम 10 कोर्ट में ये जमानती लगाए गए थे। जब इनकी जांच हुई तो वो जमानती फर्जी निकले। इतना ही नहीं जिस दरोगा के जरिए इन जमानतियों की तस्दीक कराई गई थी। उनके हस्ताक्षर और वो दरोगा भी फर्जी निकले। दरोगा, वकील और जमानती सभी फर्जी निकले इसमें थाना लालकुर्ती और थाना टीपीनगर से दरोगा हरपाल और दरोगा रंजीत का नाम दिया गया था। ये दोनों ही सबइंस्पेक्टर कोई भी इन थानों और जिले में पोस्टेड हैं। वो फर्जी निकले। इसके अलावा जो जमानती थे मोनू, दीपक, अजय, रोशन, पंकज और भारत है ये भी तस्दीक करने पर फर्जी निकले। जब जमानती कागज चैक किए गए तो फर्जी मिले। जिस वकील के हस्ताक्षर डॉक्यूमेंट पर थे वो फर्जी निकले। वकील नबी हसन जैदी की मोहर कागजों पर लगी थी इस नाम का कोई भी वकील नहीं मिला है। मुख्य आरोपी अरेस्ट अन्य को तलाश रहीं पुलिस की 3 टीमें पूरे मामले में 8 लोगों के खिलाफ सुसंगत धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है। मुख्य आरोपी अक्षय है जिसने ये पूरा कागज बनाया था उसको अरेस्ट किया गया है। बाकी अन्य आरोपियों की अरेस्टिंग के लिए सीओ सिविल लाइन के निर्देशन में पुलिस की 3 टीमें लगी हैं। जो आरोपियों की तलाश कर रही हैं। पूरे मामले में 2 सबइंस्पेक्टर, 6 जमानती और वकील फर्जी निकला। एसपी सिटी ने बताया कि जमानत के कागज जांच में फर्जी निकले इसलिए जमानत हो नहीं पाई। आरोपी अक्षय गुप्ता ) स्टाम्प विक्रेता) पुत्र मित्रसेन गुप्ता है। जो मेरठ के सूरजकुंड सिविल लाइन थानाक्षेत्र का रहने वाला है। अक्षय पर 211/25 धारा 318(4), 338,336(3), 340(2), 61 (2) बीएनएस थाना सिविल लाईन मेरठ में दर्ज है।
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