भदोही में राष्ट्रीय संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर शनिवार को जिला संयुक्त किसान मोर्चा के कार्यकर्ताओं ने बिजली (संशोधन) विधेयक-2025 के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया। जिले के विभिन्न स्थानों पर हुए इन प्रदर्शनों के दौरान विधेयक की प्रतियों को आग के हवाले कर दिया गया। किसान नेताओं ने इस विधेयक को जनविरोधी बताते हुए सरकार से इसे तत्काल रद्द करने की मांग की। मोर्चा के जिला उपाध्यक्ष भुलाल पाल ने कहा कि बिजली (संशोधन) विधेयक-2025 आम जनता के लिए एक बड़ा खतरा है और इसे रद्द किया जाना चाहिए। उन्होंने चेतावनी दी कि इसे रद्द कराने के लिए मोर्चा का संघर्ष जारी रहेगा। श्री पाल ने बताया कि इस विधेयक के लागू होने से बिजली काउंसिल के गठन का अधिकार केंद्र सरकार के पास चला जाएगा, जिसकी कमान केंद्रीय बिजली मंत्री के हाथों में होगी। उन्होंने इसे बिजली के निजीकरण की तैयारी बताया, जिससे राज्यों के अधिकार छिन जाएंगे और बिजली की दरें इतनी बढ़ जाएंगी कि किसान और आम उपभोक्ता इन्हें वहन नहीं कर पाएंगे। उन्होंने संविधान की सातवीं अनुसूची का हवाला देते हुए कहा कि बिजली समवर्ती सूची में आती है, जिस पर केंद्र और राज्य दोनों का समान अधिकार है। श्री पाल ने आरोप लगाया कि यह विधेयक केंद्र सरकार द्वारा राज्यों के अधिकारों का हनन है, जो संघीय ढांचे और संविधान की भावना के खिलाफ है। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि सरकार ने इस जनविरोधी विधेयक को रद्द नहीं किया, तो जिला संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा व्यापक जनआंदोलन किया जाएगा। इस विरोध प्रदर्शन में भानसिंह मौर्य, ज्ञानप्रकाश प्रजापति, श्रीराम बिंद, वंशराज गौतम, काशीनाथ पाल, राधेश्याम, गणेश पाल, सोनू बिंद और अनमोल सहित कई प्रमुख कार्यकर्ता मौजूद रहे।
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