महर्षि वाल्मीकि जयंती पर 23 जोड़ों का विवाह:शरद पूर्णिमा पर समिति ने 13वां सामूहिक विवाह कराया
महर्षि वाल्मीकि जयंती और शरद पूर्णिमा के पावन अवसर 23 जोड़ों ने शादी के बंधन में बंधे।यह आयोजन महर्षि वाल्मीकि निर्धन कन्या विवाह समिति एवं वाल्मीकि समाज द्वारा 13वां सामूहिक विवाह समारोह धूमधाम से संपन्न हुआ। यह आयोजन वाल्मीकि कल्याण मंडप, फूल वाली पार्क में किया गया, जिसमें 23 जोड़ों का विधि-विधानपूर्वक जयमाल और विवाह संस्कार सम्पन्न कराया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि राज्यसभा सांसद डॉ. दिनेश शर्मा ने शिरकत कर नवविवाहित जोड़ों को आशीर्वाद दिया। उन्होंने समिति के इस सामाजिक कार्य की सराहना करते हुए कहा कि निर्धन परिवारों की बेटियों की शादी करवाना अत्यंत पुण्य का कार्य है। इस अवसर पर भंडारे का भी आयोजन किया गया, जिसमें बड़ी संख्या में वाल्मीकि समाज सहित अन्य समाजों के लोग शामिल हुए। समिति की ओर से सभी नवविवाहित जोड़ों को जीवन उपयोगी सामग्री भेंट की गई। तस्वीरें देखिए… हर वर्ष की तरह इस बार भी हुआ भव्य आयोजन समिति अध्यक्ष पुजारी राजेश वाल्मीकि ने बताया कि यह समिति का 13वां विवाह समारोह है। समिति का उद्देश्य गरीब एवं जरूरतमंद परिवारों की उन बेटियों की मदद करना है जिनकी शादी आर्थिक स्थिति के कारण कठिन हो जाती है। सामूहिक विवाह से न केवल आर्थिक बोझ कम होता है, बल्कि सामाजिक एकता का संदेश भी मिलता है। समिति हर वर्ष विवाह समारोह के साथ-साथ भंडारे और धार्मिक कार्यक्रमों का आयोजन भी करती है। स्थानीय पार्षद प्रमोद सिंह ने शुभकामनाएं दी इस अवसर पर स्थानीय पार्षद प्रमोद सिंह ने कहा कि यह आयोजन समाज में एकता और सहयोग की मिसाल है। महर्षि वाल्मीकि जयंती जैसे पावन दिन पर इतने जोड़ों का एक साथ विवाह होना समाज को प्रेरित करता है। उन्होंने नवविवाहित जोड़ों और उनके परिवारों को शुभकामनाएं दीं। धार्मिक अनुष्ठानों के साथ सम्पन्न हुई शादियाँ मानस समृद्ध सेवा संस्थान के अध्यक्ष आचार्य जीतेन्द्र्य महाराज ने कहा कि यह विवाह समारोह पुजारी राजेश वाल्मीकि के नेतृत्व में आयोजित किया गया, जिसमें 23 कन्याओं का विवाह एक साथ हुआ। जयमाल, हवन और कन्यादान के साथ सभी जोड़ों ने पवित्र अग्नि के फेरे लेकर एक-दूसरे को जीवनसाथी के रूप में स्वीकार किया। उन्होंने सभी नवदंपतियों के सुखमय जीवन की कामना की। नवविवाहित जोड़ों ने साझा की अपनी बातें सामूहिक विवाह में शामिल खुशबू ने बताया कि वह लवकुश नगर, लखनऊ से आई हैं। उन्होंने कहा, हम लव मैरिज कर रहे हैं। पहले परिवार वाले नहीं मान रहे थे, लेकिन समिति की मदद से आज हमारा विवाह सम्पन्न हुआ।
वहीं दीपाली कश्यप (गणेशगंज, लखनऊ) ने बताया कि वह 9 वर्षों से अपने साथी को जानती हैं। परिवार की सहमति से उन्होंने सामूहिक विवाह में शादी की।
रूबी गौतम (बक्शी का तालाब) ने बताया कि वह घरवालों की इच्छा से शादी कर रही हैं और इस तरह के आयोजन गरीब परिवारों के लिए बहुत मददगार हैं। 23 वर-वधू वैवाहिक बंधन में बंधे सामूहिक विवाह में ताशु–रचित वाल्मीकि, वंदना भारती–पवन गौतम, तन्नू गुप्ता–शिवा, पूजा कश्यप–अरुण कुमार, पूनम लोधी–सूरज, राधिका गौतम–मोहित कुमार, अनीता गौतम–रंजीत, सुधा–राहुल कुमार, काजल गौतम–नीरज, प्रीति–कपिल कुमार, काजल वाल्मीकि–असन वाल्मीकि, खुशबू–ऋतिक वाल्मीकि, हिमानी गौतम–सूरज, रीमा रावत–रामबीर रावत, काजल कुमारी–धरम वाल्मीकि, प्रीति वाल्मीकि–राहुल वाल्मीकि, पायल चौरसिया–दीपू चौरसिया, कल्पना गौतम–राहुल कुमार, दीपाली कश्यप–रोहित कश्यप, रूबी गौतम–आकाश, शिवानी–रीतिन, रूबी–पंकज कुमार और नीशा–राजन वाल्मीकि ने एक-दूजे का हाथ थामा। समारोह के समापन पर समिति के सभी पदाधिकारियों एवं समाज के वरिष्ठ सदस्यों ने नवविवाहित जोड़ों को आशीर्वाद दिया और उनके सुखद वैवाहिक जीवन की मंगलकामनाएं कीं।
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