वाराणसी में युवक को धारदार हथियार से मारकर किया घायल:चेहरे पर लगे 25 टांके, पिता बोले – पुलिस नहीं कर रही मदद, हमें इंसाफ चाहिए
‘साहब हमे उम्मीद नहीं है कि हमें इंसाफ मिलेगा क्योंकि जिन लोगों ने मेरे बेटे को मारा है। वो लोग बहुत पैसे वाले हैं। मेरे बेटे को बुरी तरह पीटा गया। पुलिस खड़ी रही तब भी लोग मारते रहे। ऐसे में हमें काम उम्मीद है कि इंसाफ मिले। ऐसे में एक गरीब की विनती मुख्यमंत्री जी से है की हमें इंसाफ दिलाएं।’ ये कहना है आदमपुरा थाना क्षेत्र के तेलियाना इलाके के रहने वाले मुकुंदी लाल (70) का; मुकुंदी के बेटे चंद्रप्रकाश (28) को 3 अक्टूबर की रात 10 बजे आपसी कहासुनी के बाद मोहल्ले के ही कुछ युवकों ने धारदार हथियार से मारकर लहूलुहान कर दिया। उसके चेहरे पर लोहे के पंच से मरा गया। आरोप है कि सूचना पर फैंटम पहुंची पर मारपीट कर रहे युवकों ने चंद्रप्रकाश को पुलिस के सामने नीचे उतारकर मारा। इस समय चंद्रप्रकाश का इलाज कबीरचौरा मंडलीय चिकित्सालय के वार्ड नंबर-1 में चल रहा है। उसके चेहरे पर स्वेलिंग और 20 टांके लगे हैं। कुछ टांका पेट में लगा है। इलाज जारी है। परिजन अभी भी डरे सहमे हैं। उन्हें इंसाफ चाहिए। उनका कहना है पुलिस ने FIR तो दर्ज की है पर कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है और हलकी धाराओं में मुकदमा पंजीकृत किया गया है। ऐसे में दैनिक भास्कर ने तेलियाना स्थित मुकुंदी लाल के घर पहुंच कर परिजनों से मामले की जानकारी ली और कबीरचौरा में एडमिट चंद्रप्रकाश से भी घटना के दिन क्या हुआ था जानने की कोशिश की। पढ़िए रिपोर्ट सबसे पहले जानिए कबीरचौरा अस्पताल में एडमिट चंद्रप्रकाश से की 3 अक्टूबर की रात क्या हुआ था ? … काम से लौट रहे थे घर
वाराणसी के मंडलीय चिकित्सालय के सर्जिकल वार्ड नंबर-1 के बेड नंबर 9 पर चंद्रप्रकाश एडमिट हैं। चंद्रप्रकाश के मुंह पर टांके लगे हैं। ऐसे में वो बहुत कम बोल पा रहे हैं। उन्होंने धीरी आवाज में कुछ कहना शुरू किया तो हमने माइक ऑन कर लिया। चंद्रप्रकाश ने बताया – उस रात दस बजे के आस-पास घर लौट रहा था। घर के मोड़ के पास पहुंचा था कि अचानक जितेंद्र, शुभम और अन्य लड़कों ने मजाक शुरू कर दिया। इसपर मैंने भी मजाक कर दिया और बोली कसी। गुस्से में आकर मारना शुरू कर दिया
चंद्रप्रकाश ने बताया – इसके बाद उन लोगों ने कई लोगों को फोन कर दिया और 12 से 13 लोग मौके पर पहुंचे और इधर किसी ने लोहे की पत्ती से मेरे पेट में मारा। मुझे लात-घूसों से मारने लगे। मै दर्द से तड़पता रहा। पुलिस के सामने उतारकर पंच से मारा
चंद्रप्रकाश ने आरोप लगाते हुए बताया – इसके बाद पुलिस आ गयी और मुझे फैंटम पर बैठा लिया। इस दौरान अगली पार्टी मुझे गाली गलौज देती रही। आगे बढ़ने पर जामिया स्कूल के पास फैंटम को रोकवाकर मुझे नीचे उतारा और पुलिस के सामने मुझे पंच से मेरे चेहरे पर कई वार किए जिससे मेरे चेहरे पर 25 टांके लगे हैं। हमें इंसाफ चाहिए। अब जानिए घर पर मौजूद लाचार पिता मुकुंदी लाल ने क्या बताया और बहन को क्या चाहिये ? माला अर्पित करने गया था चंद्रप्रकाश
हम फुलवरिया स्थित चंद्रप्रकाश के घर पहुंचे तो यहां हमें चंद्रप्रकाश के पिता, मां, भाई और बहन मिली। मुकुंदी लाल ने नम आंखों से अंदर बुलाया। हमारा लड़का बहुत सीधा है। ऑटो चलाकर हमारे घर का खर्चा चलाता है। रोज देवी-देवताओं को मला अर्पित करने रात में जाता है। दशहरे के दिन भी माला फूल अर्पित कर घर आ रहा था। उससे कुछ लोगों ने हंसी मजाक किया और फिर उसके साथ मारपीट की गयी और उसके ब्लेड और पंच लगा दिया जिससे वो घायल है। पुलिस मदद नहीं कर रही है
मुकुंदी ने कहा – जिन लोगों ने मारपीट की है वो लोग पैसे वाले हैं। हम तो इतने गरीब हैं कि दो वक्त का खाना भी नहीं खा सकते हैं। वही बेटा ही हमारा सहारा था जिसे लोगों ने मारापीटा है। उन्होंने नम आंखों से कहा – पुलिस ने एफआईआर तो दर्ज की है पर अभी तक कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है। पुलिस हमारी मदद नहीं कर रही है। सिर्फ कह रही है कि जांच कर रहे हैं। हमें नहीं लगता कि हमें इंसाफ मिलेगा। बहन ने कहा योगी जी इंसाफ दीजिये
अपने तीन भाई एक बहन में सबसे छोटे चंद्रप्रकाश की बड़ी बहन शिवरात्रि ने कहा – हमारा भाई सबसे छोटा है। उसकी चोट देखकर बहुत तकलीफ है। हमें बस न्याय चाहिए। हमारे भाई को जिसने ऐसे मारा है। उसे सजा मिलनी चाहिए। बस हमें और कुछ नहीं चाहिए। हम लोग कैसे उसका इलाज कराएंगे ये भी समझ में नहीं आ रहा है। अब जानिए पुलिस ने FIR में क्या किया दर्ज और किन धाराओं में दर्ज किया मुकदमा… चार नामजद पर मुकदमा दर्ज
इस संबंध में आदमपुर पुलिस ने चार नामजद पर मुकदमा दर्ज कर कर्रवाई शुरू कर दी है। थाना प्रभारी आदमपुर ने बताया – पीड़ित चंद्रप्रकाश को पहले कबीरचौरा अस्पताल में एडमिट कराया गया था। वहां उसे बीएचयू ट्रामा सेंटर भेजा गया था। यां इलाज और टांके लगने के बाद दोबारा कबीरचौरा रेफर किया गया। जहां उसका इलाज जारी है। इस प्रकरण में चार नामजद जितेंद्र जायसवाल, पप्पू जायसवाल, राजेंद्र जायसवाल और शुभम जायसवाल पर मुकदमा दर्ज किया गया है। इन धाराओं में दर्ज हुआ है मुकदमा
पुलिस ने बीएनएस की धारा 115(2), 351(2) और 352 में मुकदमा दर्ज किया गया है। तीनों ही धाराओं में गिरफ्तारी नहीं हो सकती क्योंकि सजा एक साल या दो साल की है। इसी वजह से परिजनों का पुलिस पर आक्रोश है। दो साल की सजा वाली धाराओं के मामलों में गिरफ्तारी जरूरी नहीं है, क्योंकि सुप्रीम कोर्ट ने 2023 में आदेश दिया है कि सात साल तक की सजा वाले मामलों में पुलिस को पहले नोटिस देकर बुलाया जाए; न कि उन्हें सीधे गिरफ्तार किया जाए।
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