लखनऊ में सहारा कर्मचारियों को एक महीने की सैलरी मिलेगी:गायों को छुट्टा छोड़ा था, बोले- बिजली-पानी नहीं आने से चारा खत्म हुआ

लखनऊ में सहारा शहर में तीसरे दिन कर्मचारियों का धरना प्रदर्शन जारी है। लगातार तीसरे दिन परिसर का बिजली-पानी बंद है। इसके चलते मवेशियों का चारा खत्म हो गया है। मवेशी भी अब बेसहारा होकर सहारा शहर की सड़क सहित अन्य जगहों पर घूम रहे हैं। कर्मचारियों का कहना है कि मैनेजमेंट ने शुक्रवार को एसीपी कार्यालय में बुलाने की कोशिश की थी, लेकिन यहां पर हम लोग की यह बात हुई थी कि हम वहां पर नहीं जाएंगे। प्रबंधन के लोग बातचीत करने के लिए परिसर में आएं। इस दौरान सहारा शहर के लोगों से प्रबंधन की बातचीत हुई। सहारा अधिकारी ने कर्मचारियों को एक महीने की सैलरी देने का वादा किया है। 30 साल से कर रहे नौकरी 10 साल से परेशान राजेंद्र प्रसाद कनौजिया ने कहा कि सैलरी नहीं मिल रही है। फेमिली में बहुत दिक्कत है। 2014 से सहारा इंडिया ने पीएफ नहीं जमा किया। हमारे परिवार को और संस्था के लोगों को बहुत परेशानी हो रही है। इसका समाधान होना चाहिए। हम लोग लड़ाई झगड़ा नहीं करना चाहते। हमारा बकाया दिया जाए, हिसाब किया जाए। 1995 से नौकरी कर रहा हूं, 2014 तक स्थिति ठीक थी। इसके बाद सब कुछ खराब हो गया। साल भर में तीन बार सैलरी मिल रही है। 30 से अधिक सालों तक नौकरी की है। अब हम लोग कहां जाएंगे क्या करेंगे कोई सुनने वाला नहीं है। वहीं, संतोष कुमार ने बताया कि हमारा बकाया वेतन दिया जाए पीएफ सहित अन्य चीज भी दी जाए मुख्यमंत्री तक हम लोगों की मांग पहुंचाई जाए। बच्चों की पढ़ाई छूट गई, बेटी की शादी नहीं हो पा रही
आनंद प्रताप लोधी ने कहा कि 1 अप्रैल 2011 से रेस्टोरेंट में काम कर रहा हूं। 2012 से वेतन भुगतान नियमित नहीं मिल रहा है। पीएफ और अन्य मद का पैसा भी नहीं मिल रहा है। हम लोगों की केवल एक मांग है, हम लोगों का पेमेंट दे दिया जाए। हमको कोई इंटरेस्ट नहीं चाहिए। हमारा हिसाब संस्था की तरफ से कर दिया जाए। बच्चों की पढ़ाई छूट गई है, लड़की की शादी नहीं हो पा रही है, मां बीमार है उनका पूरी तरीके से इलाज नहीं कर पा रहे हैं। तनख्वाह चार से पांच बार ही एक साल में मिल रही है। हमारा यही कहना है कि शांतिपूर्वक हम लोगों का हिसाब कर दिया जाए। हम लोगों को कोई शिकायत मैनेजमेंट से नहीं है। हम घर चले जाएंगे। हमारा पैसा दिया जाए। एक महीने की सैलरी देने का वादा किया सहारा के कर्मचारियों का कहना है कि प्रबंधन के लोग बातचीत करने के लिए आए थे। इस दौरान 1 महीने की सैलरी देने का आश्वासन दिया। दावा है कि सहारा प्रबंधन के लोगों ने आश्वासन देते हुए कहा कि कबाड़ का 70 फीसदी कर्मचारियों को दिया जाएगा। 30 फीसदी कर्मचारियाें के हित में लगाया जाएगा। जब सहारा प्रबंधन से जुड़े लोग अपनी गाड़ियां लेकर जाने लगे तब कर्मचारियों ने इसका विरोध कर दिया। कर्मचारियों का कहना है कल से वह अपना काम करेंगे। मुख्य गेट खुला रहेगा, लेकिन कोई सामान बाहर नहीं ले जाने दिया जाएगा। बिजली पानी भी बहाल की जाएगी। मौके पर पुलिस के अधिकारियों ने भी कर्मचारियों को चेतावनी दी थी। ————————- ये खबर भी पढ़िए… सहाराश्री की पत्नी स्वप्ना रॉय ने लखनऊ की कोठी छोड़ी : ट्रकों में भरकर ले जा रहे सामान; कर्मचारी बोले- उनके साथ रिश्तेदार भी भाग गए लखनऊ में सुब्रतो कोठी पर नगर निगम के एक्शन से पहले 3 दिन से ड्रामा चल रहा है। 1 अक्टूबर को नगर निगम की टीम कोठी सील करने पहुंची तो सहारा के प्रतिनिधियों ने 4 दिन का समय मांगा। दूसरे दिन सहारा के कर्मियों ने प्रदर्शन किया। वहीं, तीसरे दिन शुक्रवार को सहाराश्री की पत्नी स्वप्ना रॉय पिछले गेट से कोठी छोड़ गईं। (पूरी खबर पढ़िए)

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