दुर्लभ संयोग के साथ आज से नवरात्रि शुरू:27 साल बाद इस बार 10 दिन की नवरात्रि, प्रयागराज के देवी मंदिरों में श्रद्धालुओं की भीड़

आज 22 सितंबर से शारदीय नवरात्रि की शुरूआत हुई। पहले दिन यानी प्रतिपदा तिथि को गजकेसरी राजयोग के बेहद दुर्लभ योग में मां जगदंबा गज वाहन पर सवार होकर आएंगी। खास बात यह है कि 27 वर्ष बाद इस बार नवरात्रि 9 नहीं बल्कि 10 दिन का होगा। इसके पहले वर्ष 1998 में नवरात्रि 10 दिन का था। देवी मंदिरों में पहले दिन से ही श्रद्धालुओं की लंबी भीड़ है। मां अलोपशंकरी मंदिर, ललिता देवी व कल्याणी मंदिर समेत अन्य देवी मंदिरों में श्रद्धालुओं की भीड़ सबसे ज्यादा है। आचार्य ब्रजमोहन पांडेय ने बताया कि पहले दिन शुक्ल योग, बुध-सूर्य की युति से बुधादित्य योग, त्रिग्रही योग, मंगल-शुक्र की युति से धनशक्ति राजयोग बनेगा। इस नवरात्रि में कई शुभ राजयोगों का निर्माण भी हो रहा है जिनमें नवपंचम राजयोग भी है। इसके फलस्वरूप कई राशियों जैसे मकर, धनु, कन्या राशि के जातकों पर मां दुर्गा के साथ ही मां लक्ष्मी की विशेष कृपा बरसेगी। इसके अलावा पूरे नवरात्रि के दौरान द्विपुष्कर योग, सर्वार्थ सिद्धि योग और और सूर्य ग्रह की अनुकूलता बनी रहेगी। आज लोग करेंगे कलश स्थापना
हिंदू पंचांग के अनुसार शारदीय नवरात्रि की नौ तिथियों में मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की विधिवत पूजा और व्रत का विशेष महत्व होता है। आचार्य ब्रजमोहन पांडेय ने बताया कि वैदिक पंचांग के अनुसार इस नवरात्रि में आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि की शुरुआत 22 सितंबर को रात 01 बजकर 23 मिनट पर हो रही है जो 23 सितंबर को रात 02 बजकर 55 मिनट पर समाप्त होगी। इसलिए 22 सितंबर से शारदीय नवरात्र शुरू होंगे और इसी दिन कलश स्थापना की जाएगी। वेदाचार्य ब्रजमोहन पांडेय ने कहा कि इस बार नवरात्र तिथि में चतुर्थी तिथि बढ़ रही है। इस साल श्राद्ध पक्ष में एक तिथि का क्षय और नवरात्र में एक तिथि में वृद्धि हो रही है, इसलिए इस साल 9 दिन नहीं 10 दिन के नवरात्र होंगे। शारदीय नवरात्र 2025 तिथि ऐसे कर सकते हैं देवी दुर्गा की पूजा इन मंत्रों का जप करें सर्वमंगलमांगल्ये शिवे सर्वार्थसाधिके। शरण्येत्र्यम्बके गौरी नारायणि नमोस्तु ते।। ऊं जयन्ती मंगला काली भद्रकाली कपालिनी। दुर्गा क्षमा शिवा धात्री स्वाहा स्वधा नमोऽस्तुते।। इन मंत्रों के अलावा दुर्गा सप्तशती का पाठ भी किया जा सकता है। देवी कथाएं पढ़ और सुन सकते हैं। इस दिन किसी गोशाला में धन और हरी घास का दान करें।

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Source: उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर