हेलो मैं सीबीआई मुंबई से बोल रहा हूं.. आपके आधार कार्ड का प्रयोग कर टेलीकॉम सिम कार्ड निकाला गया है। जिसके जरिए युवती को परेशान किया जा रहा था। जिसने आत्महत्या कर ली है। इतना ही नहीं आपका नाम मनी लॉन्ड्रिंग और जेट एयरवेज के मालिक नरेश गोयल के मुकदमे में भी सामने आ रहा है। मामले सुप्रीम कोर्ट से जुड़े हुए है। ये बातें बोलकर साइबर ठग ने केस्को के रिटायर्ड सुपरिटेंडेंट इंजीनियर को 70 दिन तक डिजिटल अरेस्ट रखा। आरोपियों ने गिरफ्तारी का डर दिखाकर पीड़ित से 53 लाख रुपए की ठगी की। परिवार के सदस्यों के घर पहुंचने पर उन्होंने आपबीती बताई। जिसके बाद उन्हें अपने साथ हुई ठगी का एहसास हुआ। 3 अक्टूबर को डायलिसिस के दौरान आई थी कॉल कोहना के उपवन सोसायटी निवासी रमेश चंद्र केस्को से सुपरिटेंडेंट इंजीनियर के पद से रिटायर्ड है, वह अपनी पत्नी के साथ रहते है। जबकि उनके बच्चे अमेरिका व नोएडा में नौकरी करते है और परिवार के साथ वहीं रहते है। उनके अनुसार 3 अक्टूबर 2025 को डायलिसिस के दौरान उनके मोबाइल पर कॉल आई, जिसने खुद को सीबीआई मुंबई से जुड़ा हुआ बताया। जिस पर उन्होंने अस्पताल में होने की बात कहकर फोन काट दिया। उसके बाद 4 अक्टूबर को दोबारा उनके पास कॉल आई। जिसमें युवक ने खुद को सीबीआई अधिकारी बताते हुए कहा कि आपके आधार कार्ड से टेलीकॉम सिम कार्ड निकालकर युवती को परेशान किया जा रहा था, जिससे परेशान होकर उसने आत्महत्या कर ली है। इस पर उन्होंने अपनी उम्र का हवाला दिया तो उसने बताया कि कड़े लहजे में पूछा। देखो जरा इनके खिलाफ अन्य केस तो दर्ज नहीं है। ठग बोले- जेट एयरवेज के मालिक ने ट्रांसफर किए 538 करोड़ तब दूसरे शख्स ने बताया कि इनके खिलाफ मनी लान्ड्रिंग का केस है। जिसमें जेट एयरवेज के मालिक नरेश गोयल ने सुप्रीम कोर्ट में लिखित देकर कहा है कि उसने 538 करोड़ रुपए उनके खाते में डाले है, जिसके एवज में उन्हें 10 प्रतिशत का कमीशन भी दिया गया है। जिसके एवज में नरेश गोयल ने आपका बैंक खाता, एटीएम कार्ड और चेकबुक का प्रयोग किया है। इस बीच सीबीआई अधिकारी की ड्रेस में मौजूद दूसरे व्यक्ति ने कहा कि इनको मुंबई लाकर जेल भेजिए। साथ ही इनकी पत्नी और बच्चों समेत पूरे परिवार की नजरबंद रखा जाएगा। जिस पर उन्होंने डायलिसिस होने की बात की तो आरोपियों ने उन्हें डिजिटल अरेस्ट करने की बात बोली। साथ ही परिवार के सभी सदस्यों का मोबाइल नंबर सर्विलांस पर लगाने की बात कही। आरोपियों ने उन्हें 3 अक्टूबर 2025 से 11 दिसंबर 2025 तक डिजिटल अरेस्ट रखा। म्युचुअल फंड बिकवा कर पैसे हड़पे इस दौरान आरोपियों ने उनके बैंक खाते से रखी रकम ट्रांसफर करवाई। साथ ही शेयर और म्युचुअल फंड बिकवा कर रकम ट्रांसफर करवाई। साथ ही पत्नी के खाते से रकम ट्रांसफर करवाकर करीब 53 लाख रुपए की ठगी की। जिस कारण वह मानसिक तनाव में रहने लगे। जब उनके बच्चे घर पहुंचे तो स्थित देखकर बातचीत की। जिस पर उन्होंने बच्चों को पूरा घटनाक्रम बताया। तब उन्हें अपने साथ हुई ठगी का एहसास हुआ। जिसके बाद उन्होंने मामले की शिकायत कोहना पुलिस से की। कोहना थाना प्रभारी विनय तिवारी ने बताया कि पीड़ित की शिकायत पर रिपोर्ट दर्ज की गई है। साइबर सेल की मदद से आरोपियों पर कार्रवाई की जाएगी।
https://ift.tt/REwO6o0
🔗 Source:
Visit Original Article
📰 Curated by:
DNI News Live

Leave a Reply