सीतापुर जिले के स्वास्थ्य विभाग में तैनात 150 निजी सुरक्षा गार्डों को हटाए जाने से हड़कंप मच गया है। ये सभी सुरक्षा गार्ड जीत सिक्योरिटी गार्ड कंपनी के कर्मचारी थे, जिनका अनुबंध स्वास्थ्य विभाग के साथ समाप्त होने के बाद यह कार्रवाई की गई। अचानक सेवाएं समाप्त होने से गार्डों और उनके परिवारों के सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है। बताया जा रहा है कि स्वास्थ्य विभाग में तैनात इन सुरक्षा गार्डों की तैनाती जीत सिक्योरिटी कंपनी के माध्यम से की गई थी। कंपनी का अनुबंध अवधि पूरी होने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने सेवा समाप्त करने की कार्रवाई शुरू कर दी। इस संबंध में मुख्य चिकित्साधिकारी (सीएमओ) द्वारा पत्र जारी कर अनुबंध समाप्त होने की जानकारी दी गई है। शनिवार देर शाम हटाए गए सुरक्षा गार्डों ने एकजुट होकर जिलाधिकारी आवास पहुंचकर अपनी फरियाद रखी। गार्डों ने आरोप लगाया कि उन्हें बिना किसी पूर्व सूचना के हटा दिया गया, जिससे वे असमंजस की स्थिति में आ गए हैं। सुरक्षा गार्डों का कहना है कि वे वर्षों से ईमानदारी से अपनी सेवाएं दे रहे थे, बावजूद इसके उन्हें बाहर का रास्ता दिखा दिया गया। गार्डों ने जीत सिक्योरिटी कंपनी पर घूस लेकर नियुक्ति करने का भी आरोप लगाया है। उनका कहना है कि कंपनी द्वारा अवैध रूप से उनसे पैसे लेकर नौकरी दी गई थी और अब अनुबंध समाप्त होने के बाद उन्हें बेरोजगार कर दिया गया है। हालांकि इन आरोपों पर कंपनी की ओर से कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है। सीएमओ डॉ सुरेश कुमार ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग में अब पूर्व सैनिक कल्याण समिति के साथ नया अनुबंध किया गया है। ऐसे में हटाए गए सुरक्षा गार्डों ने मांग की है कि उन्हें नई कंपनी के अंतर्गत स्थानांतरित किया जाए, जिससे उनके परिवारों की आजीविका बनी रहे। जिलाधिकारी से मामले में न्यायोचित निर्णय की उम्मीद सुरक्षा गार्डों ने जताई है।
https://ift.tt/IARldxq
🔗 Source:
Visit Original Article
📰 Curated by:
DNI News Live

Leave a Reply