मेरठ में अज्ञात शव को एक थाना क्षेत्र से दूसरे में फेकने का मामला शांत नहीं हो रहा है। सीसीटीवी फुटेज सामने आने के बाद दरोगा, सिपाही और होमगार्ड पर कार्रवाई हुई है, लेकिन नौचंदी थाना प्रभारी इलम सिंह पर अब तक कोई कार्रवाई न होने पर सवाल उठ रहे हैं। यह घटना शुक्रवार आधी रात की है, जब एल ब्लॉक चौकी पर तैनात कांस्टेबल राजेश और होमगार्ड रोहतास ने एक ई-रिक्शा में शव को उठवाकर दूसरे थाना क्षेत्र में फेंक दिया था। सीसीटीवी फुटेज में पूरा घटनाक्रम कैद होने के बाद एसएसपी डॉ. विपिन ताड़ा ने कांस्टेबल और होमगार्ड को निलंबित/बर्खास्त कर दिया। चौकी प्रभारी जितेंद्र पर भी लापरवाही की पुष्टि होने पर उन्हें निलंबित किया गया। यह पूरी ‘शव शिफ्टिंग’ नौचंदी थाना क्षेत्र में हुई थी। ऐसे में सवाल उठता है कि इतनी बड़ी घटना थाना प्रभारी की जानकारी के बिना कैसे हो सकती है। शहर में यह चर्चा है कि क्या पुलिसकर्मी बिना थाना प्रभारी की जानकारी के इतना बड़ा कदम उठा सकते थे। स्थानीय लोगों का आरोप है कि इस क्षेत्र में शवों को एक थाने से दूसरे थाने में धकेलने का खेल पहले भी चलता रहा है। हालांकि, इस बार सीसीटीवी फुटेज के रूप में पुख्ता सबूत सामने आया है। लोगों का कहना है कि जब छोटे पुलिसकर्मियों पर तुरंत कार्रवाई हुई, तो थाना प्रभारी इलम सिंह पर चुप्पी क्यों है। उधर, लोहिया नगर थाना पुलिस अब भी मृतक की पहचान कराने में जुटी है। सीसीटीवी फुटेज में रात करीब 1:50 बजे पुलिसकर्मी बाइक से आते दिख रहे हैं, उनके पीछे ई-रिक्शा में शव रखा था। पुलिसकर्मियों ने शव को सड़क किनारे एक दुकान के सामने रखकर छोड़ दिया था।
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