कानपुर के महाराजगंज जेल में बंद भू- माफिया बिल्डर गजेंद्र सिंह नेगी के खिलाफ रावतपुर पुलिस ने धोखाधड़ी की एक और रिपोर्ट दर्ज कर ली। पीड़ित से मदद के नाम पर गजेंद्र सिंह नेगी ने अपने, पत्नी और भाई के खाते में लाखों की रकम डलवाई। पैसा मांगने पर फर्जी कागजात दिखाकर एक जमीन पीड़ित के नाम करने का झांसा भी दिया। ठगी के शिकार पीड़ित ने रावतपुर थाने में मामले की शिकायत की। तीन दिन में दो मुकदमे दर्ज
गडरियनपुरवा, विकास नगर निवासी रविकांत बाजपेई ने बताया कि उनकी पिछले लंबे समय से बिल्डर गजेंद्र सिंह नेगी से मुलाकात थी। धोखाधड़ी के मामलों में जेल में बंद गजेंद्र सिंह नेगी ने अपनी समस्याओं के समाधान के लिए अपने खाते में 445000 रुपए, अपने भाई शिवचरण सिंह नेगी के खाते में 411000 रुपए और पत्नी प्रीति बाजपेई के खाते में चार लाख रुपए डलवाए। 2020 में कोविद के दौरान गजेंद्र सिंह नेगी एक मुकदमे में जेल गया। तो पैरवी के लिए पत्नी ने पीड़ित से पांच लाख रुपए लिए। रकम वापस ना दे पाने के एवज में फ्लैट देने का दिया झांसा
रकम मांगने पर गजेंद्र सिंह ने पीड़ित को रुपयों के एवज में एक फ्लैट देने की बात कही। इसके बाद बगदौधी बांगर में आराजी संख्या 555 का एक रकबा दिखाकर ढाई बीघा जमीन पीड़ित के नाम लिखने का झांसा दिया। जांच में पता चला कि यह जमीन गुरु शरण कौर के नाम पर दर्ज है। ठगी के शिकार पीड़ित ने रावतपुर थाने में नेगी उसकी पत्नी और भाई के खिलाफ प्रार्थना पत्र दिया था। रावतपुर इंस्पेक्टर ने बताया कि पीड़ित की तहरीर पर आरोपितों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर मामले की जांच की जा रही है।
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