नोएडा की साइबर क्राइम पुलिस टीम ने फर्जी शेयर मार्केट प्लेटफॉर्म में निवेश कर लाभ कमाने के नाम पर की गई 3 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी में शामिल एक आरोपी को गिरफ्तार किया है। यह गिरफ्तारी साइबर थाना नोएडा द्वारा संकलित सूचना के आधार पर की गई। पुलिस ने इस मामले में एक अन्य आरोपी आमेन्द्र शाक्य, जो कि एक खाताधारक है, को जिला बदायूं से गिरफ्तार किया है। यह कार्रवाई 3 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के संबंध में की गई है। दरअसल, पीड़ित ने 20 नवंबर को थाना साइबर क्राइम नोएडा में एक शिकायत दर्ज कराई थी। इसमें बताया गया था कि एक महिला ने फेसबुक के माध्यम से पीड़ित से दोस्ती की और विश्वास कायम किया। इसके बाद उसने पीड़ित को एक फर्जी प्लेटफॉर्म पर निवेश कर कम समय में अधिक लाभ कमाने का लालच दिया। पीड़ित ने विभिन्न खातों में 3 करोड़ रुपये ट्रांसफर कर दिए, जिसके बाद धोखाधड़ी का पता चला। पुलिस ने संदिग्ध खातों पर त्वरित कार्रवाई करते हुए उन्हें फ्रीज करा दिया है। इस मामले में पहले भी दो आरोपी तेजपाल और रूपेन्द्र को गिरफ्तार किया जा चुका है। आरोपी आमेन्द्र शाक्य ने बताया कि उसके पड़ोसी गांव का तेजपाल, जिसका संपर्क मुंबई स्थित कुछ लोगों से है, करंट खाता उपलब्ध कराने के बदले कमीशन देता था। तेजपाल ने उसे बताया कि वह अपने खाते में आई धनराशि के बदले अच्छी कमाई कर सकता है। इस लालच में आकर शाक्य ने अपने कागजात जीएसटी फर्म बनवाने के लिए तेजपाल को दे दिए। तेजपाल ने शाक्य की फर्म से संबंधित कागजात बनवाए, जिनके द्वारा शाक्य ने बैंक ऑफ बड़ौदा में खाता खुलवाया। इसके बाद वह खाता लेकर तेजपाल के दोस्त रूपेन्द्र के साथ मुंबई चला गया। खाता खोलने के लिए उसे 50,000 रुपये दिए गए। वह मुंबई में 7 दिन तक रहा, जिसके बाद उसे 50,000 रुपये और दिए गए। इस प्रकार खाताधारक अभियुक्त को अपने करंट खाते के बदले कुल 1 लाख रुपये मिले। विवेचना से प्राप्त तथ्यों और साक्ष्यों के अनुसार इस खाते में करीब 1 करोड़ रुपये का लेनदेन पाया गया है।
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