देवरिया जिले में पुलिस अधीक्षक ने भ्रष्टाचार और अनुशासनहीनता के मामलों में सख्त कार्रवाई की है। दो दरोगाओं को लाइन हाजिर किया गया है। इनमें मझौलीराज चौकी प्रभारी धर्मेंद्र कुमार मिश्रा और बरियारपुर थाने में तैनात दरोगा नेपाल सिंह शामिल हैं। मझौलीराज चौकी प्रभारी धर्मेंद्र कुमार मिश्रा पर लेनदेन के आरोप लगे हैं। उन पर एक युवक को जेल न भेजने के एवज में पैसे मांगने का आरोप है। कुछ समय पहले सोशल मीडिया पर एक तस्वीर वायरल हुई थी, जिसमें एक युवक पुलिस की टोपी पहने दिख रहा था। बताया गया कि युवक के खिलाफ पहले शांतिभंग की धारा में कार्रवाई की गई थी। बाद में उसे छोड़ने के लिए पैसों की मांग की गई। इस मामले को लेकर भाजपा नेताओं ने पुलिस अधीक्षक से मुलाकात कर चौकी प्रभारी पर गंभीर आरोप लगाए थे। मामले की गंभीरता को देखते हुए एसपी ने प्रारंभिक जांच कराई। जांच में प्रथम दृष्टया लापरवाही और अनुशासनहीनता सामने आई, जिसके बाद चौकी प्रभारी को तत्काल प्रभाव से लाइन हाजिर कर दिया गया। पुलिस अधिकारियों ने पूरे मामले की विस्तृत जांच के आदेश भी दिए हैं। दूसरी ओर, बरियारपुर थाने में तैनात दरोगा नेपाल सिंह को भी लाइन हाजिर किया गया है। उन पर करीब एक सप्ताह पहले एक दुकानदार के भाई को दुकान के सामने थप्पड़ मारने का आरोप है। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद लोगों में आक्रोश फैल गया था और पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठने लगे थे। मामला संज्ञान में आते ही पुलिस अधीक्षक ने जांच कराई, जिसमें दरोगा का आचरण नियमों के विपरीत पाया गया। इसके बाद उन्हें लाइन हाजिर कर दिया गया। पुलिस अधीक्षक की इन कार्रवाइयों से यह स्पष्ट संदेश गया है कि भ्रष्टाचार और आम जनता के साथ दुर्व्यवहार किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
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