विधानसभा के तृतीय सत्र के पहले सोमवार को चित्रकूट सदर विधायक अनिल प्रधान ने अपने क्षेत्र की गंभीर बुनियादी समस्याओं को सदन में उठाया। उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष के समक्ष स्वास्थ्य, सिंचाई, खाद वितरण, भ्रष्टाचार की जांच सहित कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर सरकार से तत्काल कार्रवाई की मांग की। विधायक ने चित्रकूट ट्रेजरी घोटाले को लेकर भी विधानसभा में प्रदर्शन किया। विधायक प्रधान ने बताया कि चित्रकूट एक आकांक्षी जिला होने के बावजूद स्वास्थ्य सेवाओं की स्थिति चिंताजनक है। जिले में संयुक्त जिला चिकित्सालय और 200 बिस्तरों वाला मातृ एवं शिशु चिकित्सालय मौजूद है, लेकिन विशेषज्ञ डॉक्टरों की भारी कमी है। गंभीर मरीजों को अक्सर खोह और जिला अस्पताल से लगभग 120 किलोमीटर दूर प्रयागराज रेफर किया जाता है। इस कारण प्रतिवर्ष हजारों मरीज प्रयागराज पहुंचने से पहले ही दम तोड़ देते हैं। विधायक ने जिले में विशेषज्ञ चिकित्सकों की तैनाती, 24 घंटे एक्स-रे, सीटी स्कैन और रक्त जांच की सुविधा उपलब्ध कराने की मांग की। उन्होंने सदन को अवगत कराया कि वर्ष 2021 में मेडिकल कॉलेज की स्थापना के लिए भूमि अधिग्रहण हो चुका है। हालांकि, चार साल बीत जाने के बाद भी न तो इसे स्वीकृति मिली है और न ही बजट जारी हुआ है। विधायक ने चित्रकूट में मेडिकल कॉलेज की शीघ्र स्थापना, जिला अस्पताल में सभी प्रकार के आईसीयू वार्ड और एमआरआई मशीन लगाए जाने की मांग की। विधायक प्रधान ने मुख्यमंत्री राहत कोष से मिलने वाली सहायता राशि के भुगतान में देरी पर भी सवाल उठाए। उन्होंने इसके लिए समय सीमा तय कर पूरी राशि शीघ्र जारी करने हेतु नियम बनाने की मांग की। इसके अतिरिक्त, उन्होंने ग्राम पंचायत मकरी पहरा में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के निर्माण, जिला कोषागार घोटाले की सीबीआई जांच और दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की मांग की। किसानों को खाद की पारदर्शी आपूर्ति सुनिश्चित करने और खराब सिंचाई व्यवस्था में सुधार लाने की मांग भी सदन में उठाई गई। साथ ही, पहाड़ी क्षेत्र की ग्राम पंचायत महुआगांव में इंटरलॉकिंग खड़ंजा निर्माण कार्य कराए जाने की मांग की गई। विधायक ने जोर देकर कहा कि जनता की समस्याओं का समय पर समाधान ही सुशासन की असली पहचान है।
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