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इंस्पेक्टर ने सर्विस रिवाल्वर से खुद को मारी गोली, मौत:जालौन में सिर के आर-पार हुई बुलेट, पेट्रोलिंग के बाद थाने पर लौटे थे

जालौन के कुठौंद थाना प्रभारी इंस्पेक्टर अरुण कुमार राय ने अपनी सर्विस रिवाल्वर से गोली मार ली। बुलेट उनके सिर के आरपार हो गई। गोली की आवाज सुनकर हमराही उनके क्वार्टर की ओर दौड़े। दरवाजा खोला तो इंस्पेक्टर खून से लथपथ पड़े थे। उनके हाथ के पास रिवॉल्वर पड़ी थी। पुलिसवाले उनको लेकर अस्पताल पहुंचे। डॉक्टर्स ने उनको बचाने के लिए दो घंटे तक मशक्कत की लेकिन इलाज के दौरान उन्होंने दम तोड़ दिया। घटना शुक्रवार रात की उरई जिला मुख्यालय से करीब 51 किलोमीटर दूर कुठौंद थाने की है। खुद को गोली मारने वाले इंस्पेक्टर गोरखपुर के रहने वाले थे। 2023 में वह इंस्पेक्टर पद पर प्रमोट हुए थे। एसपी दुर्गेश कुमार ने बताया- सुसाइड के कारणों को अब तक पता नहीं चल सका है। परिजनों को सूचना दे दी गई है। पुलिस हर एंगल से जांच कर रही है। अब पूरा मामला पढ़िए… रात में पेट्रोलिंग की, भंडारा में शामिल हुए हमराही सिपाहियों के अनुसार, शाम को वे थाने के पास चल रहे पांच कुंडीय महायत्र के भंडारे में शामिल हुए। यहां उनको सम्मानित किया गया। इसके बाद जालौनी माता मंदिर के पुजारी सर्वेश महाराज की बेटी की शादी में पहुंचे। वहां वर-वधू को आशीर्वाद देने के बाद उन्होंने कस्बे में पेट्रोलिंग की। रात करीब 9 बजे वह थाने स्थित अपने सरकारी आवास पर पहुंचे। रात करीब 9:30 बजे थाने के अंदर स्थित आवास से गोली की आवाज आने पर स्टाफ सबसे पहले वहां पहुंचा। पुलिसकर्मियों ने बताया- दरवाजा खोलने पर देखा गया कि इंस्पेक्टर अपने क्वार्टर में खून से लथपथ पड़े हैं। इसके बाद उनको लेकर स्थानीय स्वास्थ्य केंद्र लेकर गए। लेकिन उनकी हालत को देखते हुए डॉक्टर्स ने उरई हायर सेंटर रेफर कर दिया। पुलिस अधीक्षक ने बताया- मेडिकल कॉलेज में देर रात करीब 11.15 मिनट पर इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई। गोली मारने की वजह अभी स्पष्ट नहीं मौके की स्थिति को देखते हुए यह स्पष्ट है कि गोली बहुत करीब से चलाई गई है, लेकिन यह आत्महत्या थी या कोई और वजह—इसकी पुष्टि पुलिस अब तक नहीं कर सकी है। उधर, सूचना मिलते ही एसपी डॉ. दुर्गेश कुमार, एडिशनल एसपी प्रदीप कुमार वर्मा और कई वरिष्ठ अधिकारी तत्काल मौके पर पहुंचे। थाने और आवास के कमरे की फोरेंसिक टीम ने जांच शुरू कर दी है। अधिकारियों का कहना है कि कारणों की पुष्टि जांच के बाद ही हो सकेगी। कौन हैं अरुण कुमार राय?, 4 महीने पहले आए थे कुठौंद थाने
थाना प्रभारी अरुण कुमार राय मूल रूप से गोरखपुर के रहने वाले हैं। 1998 में उनकी सिपाही के पद पर पहली पोस्टिंग हुई थी। विभागीय परीक्षा पास करने के बाद वह 2012 में दरोगा बने थे। 2023 में प्रमोशन पाकर इंस्पेक्टर बने थे। लोकसभा चुनाव 2024 के समय उनकी जालौन में पोस्टिंग हुई थी। यहां उन्हें जिले का मीडिया प्रभारी बनाया गया। जुलाई 2024 में पहली पोस्टिंग कोंच कोतवाली प्रभारी के रूप में मिली। वहां लगभग 8 महीने रहे। इसके बाद ट्रांसफर होकर उरई शहर कोतवाली पहुंचे, वहां लगभग 7 महीने रहे। 4 महीने पहले उन्हें कुठौंद थाने के प्रभारी के रूप में भेजा गया था। जांच जारी, पुलिस मौन, थाना परिसर दहशत में
इस घटना के बाद थाना परिसर में देर रात तक अधिकारियों का आना-जाना लगा हुआ है। दरोगा-सिपाहियों के चेहरों पर तनाव साफ दिख रहा। जांच टीमें लगातार साक्ष्य जुटा रही हैं। पुलिस अधिकारी केवल इतना ही कह रहे हैं- “सटीक वजह का पता जांच के बाद ही चलेगा।” पुलिस अधीक्षक डॉक्टर दुर्गेश कुमार ने बताया कि प्रभारी निरीक्षक अरुण कुमार राय ने आज लगभग 9:30 बजे स्वयं के सर्विस रिवॉल्वर से सिर में गोली मार ली है। उरई मेडिकल कॉलेज में इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई है। कारणों का अब तक पता नहीं चल सका है। मामले की जांच की जा रही है। परिजनों को घटना के बारे में सूचना दे दी गई है। ——————————— ये खबर भी पढ़िए… आजम के बेटे को फिर 7 साल की सजा:फर्जी जन्मतिथि पर पासपोर्ट बनवाया था, आजम के खिलाफ BJP विधायक की नई याचिका सपा नेता आजम खान के बेटे अब्दुल्ला को फिर 7 साल की सजा हुई है। रामपुर की MP/MLA कोर्ट ने फर्जी पासपोर्ट मामले में शुक्रवार को अब्दुल्ला को दोषी करार दिया। एक घंटे बाद उनको सजा सुनाई। 50 हजार का जुर्माना भी लगाया है। पढ़िए पूरी खबर…


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