चुनाव आयोग ने बदला ऑनलाइन वोट डिलीट करने का प्रोसेस:आधार से लिंक मोबाइल नंबर जरूरी किया; राहुल बोले- जब चोरी पकड़ी गई तो ताला लगाया
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के चुनाव आयोग (EC) पर वोट चोरी के आरोपों के बीच चुनाव आयोग ने अपनी वेबसाइट और एप पर ऑनलाइन वोट डिलीट करने का तरीका बदल दिया है। अब ऐसा करने वाले को ई-साइन करना होगा, जिसके लिए आधार से जुड़े मोबाइल नंबर की जरूरत होगी। राहुल ने X पर अंग्रेजी अखबार इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट्स शेयर करते हुए लिखा- ज्ञानेश जी, हमने चोरी पकड़ी तब आपको ताला लगाना याद आया। अब चोरों को भी पकड़ेंगे। तो बताइए, CID को सबूत कब दे रहे हैं आप? EC ने राहुल गांधी के कर्नाटक के आलंद में 6000 से अधिक वोटों को हटाने की कोशिश के आरोपों के बीच ये फैसला लिया है। राहुल ने पहले भी कई बार वोट चोरी के आरोप लगाए दरअसल, राहुल गांधी कई बार आरोप लगा चुके हैं कि वोटर लिस्ट में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी, वोटों का अवैध जोड़-घटाव और संस्थानों का दुरुपयोग कर चुनाव जीते गए। उन्होंने कहा था कि कांग्रेस ने महादेवपुरा और आलंद जैसे इलाकों में इसके उदाहरण भी सामने रखे हैं और आने वाले समय में और भी सबूत जनता को दिखाए जाएंगे। राहुल ने 20 सितंबर को कहा था- ‘वह जल्द ही ऐसा सबूत सामने लाने वाले हैं जिससे साबित हो जाएगा कि नरेंद्र मोदी और बीजेपी ने वोट चोरी कर चुनाव जीते।’ राहुल ने इसे “हाइड्रोजन बम” करार दिया और कहा कि उनके पास खुले-और-बंद सबूत हैं। पूरी खबर पढ़ें… राहुल की वोट चोरी पर पिछली 2 प्रेस कॉन्फ्रेंस… 18 सितंबर: राहुल ने ECI प्रमुख पर लगाए वोट चोरों की रक्षा करने के आरोप कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने 18 सितंबर को कहा था- ‘मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार लोकतंत्र को नष्ट करने वालों और वोट चोरों को बचा रहे हैं।’ राहुल ने कर्नाटक की आलंद विधानसभा सीट का उदाहरण देते हुए दावा किया कि वहां कांग्रेस समर्थकों के वोट योजनाबद्ध तरीके से हटाए गए। राहुल ने दावा किया कि आलंद में जिन वोटर्स के नाम डिलीट किए गए उनको हटाने के लिए दूसरे राज्यों में ऑपरेट हो रहे मोबाइल नंबर का इस्तेमाल किया गया। राहुल ने प्रजेंटेशन में उनके नंबर भी बताए। गोदावाई के 12 पड़ोसी के नाम भी हैं, जिन्हें इन मोबाइल नंबर्स से डिलीट किया गया। उधर, चुनाव आयोग ने राहुल के आरोपों को गलत और निराधार बताया था। कहा था कि कोई भी आम नागरिक ऑनलाइन किसी का भी वोट डिलीट नहीं कर सकता। किसी का वोट डिलीट करने से पहले संबंधित व्यक्ति को अपनी बात रखने का मौका दिया जाता है। पढ़ें पूरी खबर… 7 अगस्त- राहुल ने वोटर लिस्ट में अवैध नाम जोड़ने के आरोप लगाए राहुल गांधी ने 7 अगस्त को वोटर लिस्ट में गड़बड़ी पर 1 घंटे 11 मिनट तक 22 पेज का प्रेजेंटेशन दिया। राहुल ने स्क्रीन पर कर्नाटक की वोटर लिस्ट दिखाते हुए कहा कि वोटर लिस्ट में संदिग्ध वोटर मौजूद हैं। उन्होंने कहा था कि महाराष्ट्र के नतीजे देखने के बाद हमारा शक पुख्ता हुआ कि चुनाव में चोरी हुई है। मशीन रीडेबल वोटर लिस्ट नहीं देने से हमें भरोसा हुआ कि EC ने भाजपा के साथ मिलकर महाराष्ट्र चुनाव चोरी किया है। हमने यहां वोट चोरी का एक मॉडल पेश किया। मुझे लगता है इसी मॉडल का प्रयोग देश की कई लोकसभा और विधानसभा सीटों पर हुआ। पढ़ें पूरी खबर… राहुल के आरोपों पर EC का जवाब… 17 अगस्त को कहा- प्रेजेंटेशन में दिखाया डेटा हमारा नहीं चुनाव आयोग (EC) ने 17 अगस्त को नई दिल्ली के नेशनल मीडिया सेंटर में प्रेस कॉन्फ्रेंस की थी। राहुल गांधी का नाम लिए बिना चीफ इलेक्शन कमिश्नर ज्ञानेश कुमार ने कहा- PPT प्रेजेंटेशन में दिखाया डेटा हमारा नहीं है। वोट चोरी के आरोपों पर हलफनामा दें या देश से माफी मांगे। 7 दिन में हलफनामा नहीं मिला तो आरोपों को निराधार समझा जाएगा। पूरी खबर पढ़ें… 18 सितंबर- किसी वोटर का नाम ऑनलाइन डिलीट नहीं होता राहुल गांधी के आरोपों के बाद चुनाव आयोग ने बयान जारी कर कहा कि किसी भी वोटर का नाम ऑनलाइन तरीके से नहीं हटाया जा सकता और आलंद विधानसभा क्षेत्र में किसी भी वोटर का गलत तरीके से नाम नहीं काटा गया है। ————————————- ये खबर भी पढ़ें… राहुल बोले- चुनाव का चौकीदार जागता रहा, चोरी देखता रहा, 36 सेकेंड में 2 वोटर मिटाओ, फिर सो जाओ लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने 19 सितंबर को ‘वोट चोरी’ और ‘वोट हटाने’ के मामले पर चुनाव आयोग को घेरा। उन्होंने शुक्रवार को कहा, ‘चुनाव का चौकीदार जागता रहा, चोरी देखता रहा, चोरों को बचाता रहा।’ राहुल ने X पर वीडियो क्लिप शेयर की। कैप्शन में लिखा- सुबह 4 बजे उठो, 36 सेकेंड में 2 वोटर मिटाओ, फिर सो जाओ- ऐसे भी हुई वोट चोरी! पूरी खबर पढ़ें…
Source: देश | दैनिक भास्कर
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