भभुआ में बिहार राज्य प्राथमिक शिक्षक संघ और राज्य प्रारंभिक शिक्षक संघ के आह्वान पर शिक्षकों ने अपनी मांगों को लेकर जिला शिक्षा कार्यालय पर जोरदार धरना-प्रदर्शन किया। इस दौरान शिक्षकों ने सरकार की नीतियों को शिक्षक विरोधी बताते हुए जमकर नारेबाजी की। बिहार राज्य प्राथमिक शिक्षक संघ के सचिव जनार्दन सिंह ने सरकार पर शिक्षकों का शोषण करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि पंचायत, प्रखंड और नगर के नाम पर शिक्षकों को बांटकर उनके अधिकारों का हनन किया जा रहा है। सिंह ने बताया कि नियमावली 2006, 2012 और 2020 के तहत 8 और 12 वर्ष की सेवा पूरी करने वाले शिक्षकों को स्नातक प्रोन्नति मिलनी थी, जो अब तक लंबित है। उन्होंने डिजिटल अटेंडेंस पर भी सवाल उठाते हुए कहा कि जब शैक्षणिक कार्य भौतिक है, तो हाजिरी इलेक्ट्रॉनिक क्यों ली जा रही है। शिक्षकों को भौतिक उपस्थिति के आधार पर समय पर वेतन भुगतान की मांग भी की गई। राज्य प्रारंभिक शिक्षक संघ के जिला अध्यक्ष संतोष कुमार ने बताया कि यह आंदोलन प्रदेश अध्यक्ष प्रदीप कुमार पप्पू के नेतृत्व में ऐच्छिक स्थानांतरण और प्रोन्नति की मांगों को लेकर किया जा रहा है। कुमार ने शिक्षा विभाग में भ्रष्टाचार का मुद्दा भी उठाया। उन्होंने आरोप लगाया कि सामूहिक कार्यों के लिए शिक्षकों को व्यक्तिगत रूप से बुलाकर लेनदेन किया जा रहा है। शिक्षकों ने चेतावनी दी है कि यदि उनकी मांगें पूरी नहीं हुईं, तो आंदोलन को और तेज किया जाएगा।
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