‘टोक्यो की उस बिजनेस पार्टी में मैंने कभी नहीं सोचा था कि मेरी जिंदगी की सबसे बड़ी कहानी शुरू हो जाएगी। बातचीत में दोस्ती बनी, दोस्ती भरोसा और फिर प्यार… दो अलग देशों, दो अलग संस्कृतियों के बावजूद हम एक-दूसरे को समझने लगे।’ दो साल तक हमने एक-दूसरे के साथ वक्त बिताया, परिवार वालों को जाना और फिर तय किया कि अब रिश्ता नाम से आगे बढ़ेगा। नवंबर 2025 में हमने टोक्यो में शादी की और अपनी दुनिया एक कर ली। मरीना शुरू से चाहती थी कि हम इंडिया आएं और यहां शादी की रस्म को पूरा करें। उसे यहां आकर बहुत अच्छा लगा, वो भारत को समझती है। हमारे परिवार को समझती है।’ ये कहना है मधेपुरा के IITian राहुल का… जिन्होंने जापान की रहने वाली मरीना से शादी की। राहुल की ये शादी इन दिनों चर्चा में है। टोक्यो में शादी के बाद मरीना ससुराल आने की जिद पर अड़ीं थी। गांव में हुए रिसेप्शन में विदेशी बहू साड़ी पहने नजर आई, पैर छूकर बड़ों का आशीर्वाद लिया। राहुल और मरीना की मुलाकात कब हुई थी..? कैसे दो साल तक दोनों का प्यार परवान चढ़ता..? कैसे जापानी रीति-रिवाज से शादी हुई और फिर बिहार आए…पढ़िए रिपोर्ट… मरीना-राहुल की रिसेप्शन की तस्वीरें देखिए… सबसे पहले जानिए राहुल का जापान का सफर और मरीना से मुलाकात राहुल का मधेपुरा से जापान तक का सफर राहुल कुमार का सफर मधेपुरा से शुरू होकर IIT और फिर जापान तक पहुंचा। साल 2020 में वे इंजीनियर के तौर पर जापान की होंडा कंपनी में काम करने पहुंचे, तब उनके सामने एक नई दुनिया थी। भाषा अलग, संस्कृति अलग और लाइफ स्टाइल बिल्कुल अलग। 2023 में हुई थी मुलाकात शुरुआती महीनों में राहुल का ज्यादातर समय ऑफिस और पढ़ाई में बीतता था। जापान में काम का अनुशासन, समय की पाबंदी और प्रोफेशनल कल्चर ने उन्हें काफी प्रभावित किया। इसी दौरान 2023 में टोक्यो में एक इंटरनेशनल बिजनेस पार्टी आयोजित हुई, जहां अलग-अलग देशों से प्रोफेशनल्स पहुंचे थे। दोनों का एक-दूसरे को क्या पसंद आया? यहीं राहुल की मुलाकात मरीना से हुई। मरीना जापान की एक मल्टीनेशनल कंपनी के ओवरसीज डिपार्टमेंट में ग्लोबल सेल्स मैनेजर थीं। पहली बातचीत काम से जुड़ी थी, लेकिन राहुल को उनकी सादगी और आत्मविश्वास अलग ही लगा। मरीना को भी राहुल की साफगोई और भारतीय संस्कार पसंद आए। धीरे-धीरे मुलाकातें बढ़ीं। कभी कॉफी पार्टी तो कभी ऑफिस इवेंट्स में और कभी शहर घूमते हुए। मरीना ने भारतीय कल्चर में लिया इंट्रेस्ट इस मुलाकात पर राहुल बताते हैं, ‘जापान में लोगों को खुलने में थोड़ा वक्त लगता है, लेकिन मरीना के साथ बातचीत बहुत सहज होती गई। हम दोनों ने एक-दूसरे के कल्चर को समझना शुरू किया। मैंने जापानी फेस्टिवल देखे, तो मरीना ने भारतीय खाने और त्योहारों के बारे में मुझसे पूछना शुरू किया। दो साल तक हम दोनों का यह रिश्ता दोस्ती और भरोसे के साथ आगे बढ़ता रहा। दोनों ने एक-दूसरे के परिवारों के बारे में बताया। मैंने बिहार, अपने गांव, माता-पिता और बचपन की बातें साझा कीं। मरीना ने अपने परिवार, काम और जापान की सामाजिक संरचना के बारे में बताया।’ एक-दूसरे को जानने के बाद की शादी राहुल आगे बताते हैं, ‘जब हम दोनों को ये लगने लगा कि अब हमारा रिश्ता सिर्फ भावनाओं तक सीमित नहीं है, तब हमने शादी का फैसला किया। परिवारों को बताया गया। शुरुआत में दूरी और कल्चर को लेकर सवाल जरूर उठे, लेकिन आपसी समझ और विश्वास ने सब आसान कर दिया। नवंबर में टोक्यो में हमारी शादी हुई। पहले जापानी परंपरा से विवाह संपन्न हुआ। खास बात यह रही कि शादी डिजनीलैंड थीम पर हुई, जो दोनों के लिए खास जगह थी। हमने वहां बहुत इंजॉय किया, मरीना भी हमारे कल्चर को समझ रही थी।’ मरीना बिहार को देखना चाहती थी, जिद करके यहां आई राहुल बताते हैं, ‘शादी के बाद जहां ज्यादातर विदेशी रिश्तों में हनीमून और शहरों की बातें होती हैं, वहीं मरीना की एक अलग ही इच्छा थी। वह बार-बार मेरे गांव, खेत, परिवार और बिहार की सादगी की कहानियां मुझसे सुनती थी। मरीना ने साफ कहा कि मैं सिर्फ भारत के शहर नहीं, बल्कि तुम्हारे गांव को देखना चाहती हूं। उनके जिद पर हम लोग गांव के लिए निकले। यह बात मेरे लिए भी बहुत भावुक करने वाली थी। इसके बाद हम इंडिया आए और दिल्ली में रिसेप्शन हुआ। अब मरीना को लेकर मधेपुरा पहुंचे। मरीना अपने पूरे परिवार के साथ टोक्यो से भारत आईं। यह उनके लिए पहली बार था जब वह किसी भारतीय गांव में घूम रही हैं।’ राहुल मुस्कुराते हुए कहते हैं, ‘मैंने मरीना को पहले ही समझा दिया था कि यहां लोग तुम्हें सेलिब्रिटी की तरह देखेंगे। इसलिए पैनिक नहीं होना है, लोग तुम्हारे साथ सेल्फी लेना चाहेंगे।’ राहुल से शादी की बातचीत के बीच मरीना तपाक से बोलती हैं….’नमस्ते इंडिया। ‘मैं मरीना हूं… अब मरीना ओवासी यादव। हमने कभी नहीं सोचा था कि हमारी कहानी यहां तक आएगी। टोक्यो की एक बिजनेस पार्टी में हमारी मुलाकात हुई, नंबर एक्सचेंज हुए और फिर दो साल तक बातें, मुलाकातें चलती रहीं। टोक्यो में दोस्ती प्यार में बदली और डिजनीलैंड थीम पर हमने शादी कर ली। आज मैं बिहार के एक गांव में खड़ी हूं और यह मेरे लिए बिल्कुल नया, लेकिन बहुत खूबसूरत अनुभव है।’ मरीना कहती हैं, ‘इंडियन कल्चर बहुत अच्छा है। नाइस एक्सपीरियंस। मुझे लगता है कि यह फैसला बहुत अच्छा रहा। राहुल का गांव और बिहार बहुत अच्छा है।’ मधेपुरा में रिसेप्शन, जश्न जैसा माहौल रौता गांव में जैसे ही यह खबर फैली कि जापान की बहू आ रही है, पूरा गांव उत्साहित हो गया। रिसेप्शन की तैयारी बड़े स्तर पर की गई। रिसेप्शन में मरीना साड़ी पहने नजर आईं। चलने में थोड़ी परेशानी हो रही थी, लेकिन उन्होंने पूरे सलीके से पहन रखी थी। ‘बेटे की खुशी में हमारी खुशी’ राहुल की मां कल्पना यादव ने कहा, ‘बेटे की खुशी में ही मेरी खुशी है। बहू बहुत अच्छी है। मैं बेटे-बहू की शादी में जापान भी गई थी।’ पिता सुशिष्ट कुमार यादव बोले, ‘बेटे ने जब बताया कि वह जापान में शादी करना चाहता है, तो हमने कभी रोका नहीं। अब बहू गांव देखना चाहती थी, इसलिए यहां रिसेप्शन रखा।’ मरीना के माता-पिता भी इस रिसेप्शन में शामिल हुए। गांव में मरीना को देखने के लिए भारी भीड़ उमड़ पड़ी। युवाओं में सेल्फी लेने की होड़ मच गई। दुल्हन को देखने के लिए भीड़ जुट गई बता दें कि मरीना और राहुल की रिसेप्शन पार्टी में गांव में मौजूद ग्रामीण भी पहुंचे थे। बुजुर्ग, महिला-पुरुष, युवक-युवती और बच्चे सभी जापानी दुल्हन की एक झलक पाने को उत्सुक नजर आए। इस दौरान युवाओं में मरीना के साथ सेल्फी लेने की होड़ मची रही। मरीना हिंदी नहीं जानती हैं, बावजूद इसके वे हाथ जोड़कर लोगों का अभिवादन कर रही थीं। वे हेलो जी, नमस्ते इंडिया और आई लव इंडिया कहकर लोगों का दिल जीत रही थीं। ग्रामीण भी टूटी-फूटी अंग्रेजी, हिंदी और स्थानीय भाषा में उनसे संवाद करने की कोशिश करते नजर आए।
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