सीतामढ़ी के परिहार प्रखंड की बथुआरा पंचायत को बाल विवाह मुक्त घोषित किया गया है। यह उपलब्धि वर्षों से बाल विवाह जैसी सामाजिक कुरीति के खिलाफ चलाए गए संघर्ष का परिणाम है। पंचायत के मुखिया धनेश्वर पासवान ने इस सफलता पर एक जागरूकता गीत गाया, जो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। मुखिया धनेश्वर पासवान द्वारा गाए गए इस गीत के बोल हैं, “जनता के रहे ईहे सरोकार हो… अठरह के बाद बियाहल जाई बिटियां हमार हो…”। यह गीत न केवल इस सामाजिक जीत का जश्न मना रहा है, बल्कि समाज को बाल विवाह के प्रति जागरूक करने का भी एक सशक्त माध्यम बन गया है। 5 वर्षों तक चलाया अभियान बाल विवाह पर पूर्ण अंकुश लगाने के उद्देश्य से सीतामढ़ी जिला प्रशासन ने लगातार प्रयास किए हैं। जिलाधिकारी के निर्देश पर जिला प्रशासन, सीतामढ़ी पुलिस की विशेष किशोर पुलिस इकाई, एसोसिएशन फॉर वॉलंटरी एक्शन, ग्राम पंचायत और वार्ड स्तरीय बाल संरक्षण समिति ने बथुआरा पंचायत में बीते पांच वर्षों तक अभियान चलाया। इस अभियान में घर-घर जागरूकता, सामाजिक संवाद, अभिभावकों की काउंसलिंग और सामूहिक जिम्मेदारी पर जोर दिया गया, जिससे बाल विवाह के मामलों पर प्रभावी रोक लगी। निगरानी तंत्र को किया मजबूत इस प्रक्रिया में ग्राम पंचायत और बाल संरक्षण समिति की भूमिका महत्वपूर्ण रही। स्थानीय स्तर पर निगरानी तंत्र को मजबूत किया गया, जिससे संदिग्ध मामलों की त्वरित सूचना मिली और समय पर हस्तक्षेप कर कई बाल विवाह रोके गए। बथुआरा पंचायत को औपचारिक रूप से बाल विवाह मुक्त पंचायत घोषित करने के लिए अब एक विशेष कार्यक्रम की तैयारियां चल रही हैं। मुखिया धनेश्वर पासवान का गीत इस सामाजिक जीत का प्रतीक बन गया है। यह गीत बेटियों के भविष्य को सुरक्षित करने की साझा जिम्मेदारी और स्थायी बदलाव के लिए कानून के साथ-साथ जनभागीदारी के महत्व का संदेश दे रहा है। बथुआरा पंचायत की यह उपलब्धि सीतामढ़ी ही नहीं, बल्कि पूरे बिहार के लिए एक महत्वपूर्ण उदाहरण प्रस्तुत करती है।
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