बक्सर का अहियापुर गांव सात महीने बाद एक बार फिर आपराधिक वारदात को लेकर चर्चा में है। सोमवार रात रसेन गांव के पास हुई अंधाधुंध फायरिंग में मोहनपुर गांव निवासी रामकांत पाठक की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि विजय शंकर चौबे गोली लगने से गंभीर रूप से घायल हो गए। घटना में करीब दस राउंड फायरिंग की बात सामने आई है। मौके से आठ खाली खोखे और दो मिस कारतूस बरामद हुए हैं। पुलिस विभाग में इस घटना के बाद कार्रवाई तेज हो गई है, क्योंकि इस हत्याकांड को अहियापुर ट्रिपल मर्डर केस से जोड़कर देखा जा रहा है। घायल विजय शंकर चौबे ने आरोप लगाया है कि यह हमला अहियापुर ट्रिपल मर्डर के पीड़ित परिवार के सदस्यों द्वारा बदले की भावना से किया गया है। घायल विजय शंकर चौबे ने पुलिस को दिए बयान में बताया कि मृतक रामकांत पाठक उनके रिश्तेदार थे और रसेन गांव आए हुए थे। सोमवार शाम दोनों खेत की ओर टहलने जा रहे थे। इसी दौरान नहर के पास पहले से घात लगाए करीब छह लोग पहुंचे और उन पर अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी। भागने के दौरान विजय शंकर के पैर में गोली लग गई। हमलावरों ने रामकांत पाठक पर कई गोलियां दागीं, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई। विजय शंकर चौबे ने इस मामले में अजीत यादव, गुड्डू सिंह, सोनू सिंह, मुन्ना सिंह, श्री सिंह, सिकंदर सिंह और अमित सिंह पर गोली चलाने और हत्या करने का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि ये सभी अहियापुर ट्रिपल मर्डर कांड के पीड़ित परिवार से जुड़े हैं। पुराने विवाद से जोड़कर देखी जा रही वारदात विजय शंकर चौबे का कहना है कि सात महीने पहले हुए अहियापुर हत्या कांड में उनके दामाद का ट्रक जब्त हुआ था। ट्रक को रिलीज कराने के लिए वह लगातार कोर्ट के चक्कर लगा रहे थे, जिससे उक्त लोग उनसे रंजिश रखने लगे थे। इसी रंजिश के चलते इस वारदात को अंजाम दिया गया। पीड़ित परिवार ने की CBI जांच की मांग दूसरी ओर, अहियापुर ट्रिपल मर्डर के पीड़ित परिवार के अजीत यादव ने एक वीडियो बयान जारी कर पूरे मामले को साजिश करार दिया है। उन्होंने CBI जांच की मांग करते हुए कहा कि 23 दिसंबर को सिविल कोर्ट में अहियापुर हत्या कांड में केस चार्ज होने वाला है। उससे पहले केस मैनेज करने के लिए दो करोड़ रुपये और दस बीघा जमीन देने का दबाव बनाया जा रहा था। जब यह मांग पूरी नहीं हुई, तो रसेन में साजिश के तहत यह घटना कराई गई, ताकि उनके परिवार को हत्या के केस में फंसाया जा सके। अजीत यादव ने यह भी आरोप लगाया कि राजपुर थाना के SHO उनके घर से एक युवक को बिना बताए थाने ले गए हैं और परिवार को उससे मिलने भी नहीं दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि जब पैसे और जमीन के लालच में वे नहीं माने, तो उन्हें हत्या के केस में फंसाने की कोशिश की जा रही है। गार्ड के बयान भी सामने आए अहियापुर ट्रिपल मर्डर के बाद पीड़ित परिवार को सुरक्षा के लिए गार्ड मुहैया कराए गए थे। इस मामले में गार्ड का भी वीडियो बयान सामने आया है। दोनों गार्डों ने कहा कि घटना के समय पूरा परिवार घर पर मौजूद था और शाम के वक्त अलाव ताप रहा था। इससे पीड़ित परिवार अपने ऊपर लगे आरोपों को सिरे से खारिज कर रहा है। मृतक के परिजन ने लगाए गंभीर आरोप इधर, मृतक रामकांत पाठक के भतीजे मंटू पाठक ने विजय शंकर चौबे पर साजिश के तहत हत्या करवाने का आरोप लगाया है। उन्होंने बताया कि रामकांत पाठक अपनी बेटी के यहां कौवा खोच गए थे, जहां विजय चौबे का भी रिश्तेदारी का संबंध है। वहीं से विजय चौबे उन्हें अपने गांव रसेन लेकर आए। जब रामकांत वापस लौटना चाह रहे थे, तो उन्हें आने नहीं दिया गया। वे अपने बेटे को फोन कर बुलाने ही वाले थे कि इसी बीच उनकी गोली मारकर हत्या कर दी गई। मंटू पाठक ने कहा कि उनके चाचा की किसी से कोई दुश्मनी नहीं थी। एसपी खुद कर रहे हैं जांच मामले की गंभीरता को देखते हुए बक्सर के पुलिस अधीक्षक शुभम आर्य स्वयं जांच में जुटे हुए हैं। उन्होंने कहा कि जांच पूरी होने से पहले किसी नतीजे पर पहुंचना जल्दबाजी होगी। पुलिस सभी बिंदुओं पर जांच कर रही है और जल्द ही अपराधियों को गिरफ्तार कर पूरे मामले का खुलासा किया जाएगा। सात महीने पहले हुआ था ट्रिपल मर्डर गौरतलब है कि अहियापुर गांव में 24 मई 2025 को बालू-गिट्टी रखने के विवाद में खूनी संघर्ष हुआ था, जिसमें एक ही परिवार के तीन चचेरे भाइयों की सरेआम गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। उस घटना में दो अन्य लोग घायल हुए थे। मामले में पूर्व जिला परिषद उपाध्यक्ष और उसके भाई समेत कई अभियुक्त फिलहाल जेल में हैं। उस समय पुलिस ने कुर्की-जब्ती की कार्रवाई भी की थी। ट्रिपल मर्डर के कई वीडियो वायरल हुए थे, जिनमें पहले लाठी-डंडों से मारपीट और बाद में अंधाधुंध फायरिंग साफ दिखी थी। FIR दर्ज, जांच जारी राजपुर थाना अध्यक्ष निवास कुमार ने बताया कि विजय शंकर चौबे के बयान के आधार पर कुल छह लोगों के खिलाफ नामजद FIR दर्ज की गई है और पुलिस आगे की अनुसंधान प्रक्रिया में जुटी है। मृतक रामकांत पाठक के शव का पोस्टमार्टम कराकर परिजनों को अंतिम संस्कार के लिए सौंप दिया गया है। वहीं, इस हत्याकांड के एक गवाह के भाई को भी पुलिस ने हिरासत में लिया है। फिलहाल रसेन और आसपास के इलाकों में तनावपूर्ण शांति बनी हुई है, जबकि पुलिस की सक्रियता बढ़ा दी गई है।
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