अंतरराष्ट्रीय दिव्यांग दिवस के अवसर पर 3 दिसंबर को कटिहार में कोशी क्षेत्रीय विकलांग, विधवा, वृद्ध कल्याण समिति ने एक सामूहिक विवाह समारोह का आयोजन किया। यह आयोजन बिनोदपुर स्थित अग्रसेन भवन में हुआ, जिसमें दिव्यांगजनों के विवाह संपन्न कराए गए। यह सामूहिक विवाह उत्सव ‘दिव्यांग महापरिवार’ द्वारा प्रतिवर्ष आयोजित किया जाता है। इसका उद्देश्य आर्थिक रूप से कमजोर दिव्यांग बेटे-बेटियों को सम्मानजनक जीवन की नई शुरुआत देना है, जिससे समाज में समानता और सहयोग को बढ़ावा मिल सके। 4 दिव्यांग जोड़ों ने विवाह किया इस साल 4 दिव्यांग जोड़ों ने विवाह किया। इनमें पुशो-सुनील, किरण-संजय, शांति-सोनेलाल और विनिता-विनोदा शामिल थे। सभी जोड़ों ने विवाह मंडप में पूरे विधि-विधान के साथ फेरे लिए और एक-दूसरे का साथ निभाने का वचन दिया। समारोह में सैकड़ों लोग उपस्थित थे, जिन्होंने नवविवाहितों को शुभकामनाएं दीं। कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे इस अवसर पर कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे। इनमें मोहन कुमार, राष्ट्रीय अध्यक्ष सह बोर्ड सदस्य, राष्ट्रीय न्यास, भारत सरकार एवं मानसिक स्वास्थ्य प्राधिकरण, स्वास्थ्य विभाग, गंगाराम चंद्रवंशी, बिक्की जयसवाल और डॉ. आभा प्रमुख थे। इन सभी अतिथियों ने नवविवाहित जोड़ों को आशीर्वाद दिया। समारोह के मुख्य आयोजक शिव शंकर रमाणी, सदस्य—बिहार राज्य सलाहकार बोर्ड, समाज कल्याण विभाग, बिहार सरकार, ने भी सभी नवदंपतियों को शुभकामनाएं दीं। आयोजन सामाजिक समानता और आत्मनिर्भरता को देते हैं बढ़ावा राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित कोशी क्षेत्रीय विकलांग, विधवा, वृद्ध कल्याण समिति सालों से दिव्यांगजनों के पुनर्वास, सम्मान और सामाजिक सशक्तिकरण के लिए कार्य कर रही है। संस्था का मानना है कि सामूहिक विवाह जैसे आयोजन सामाजिक समानता और आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देते हैं। आयोजक मंडल ने क्षेत्रवासियों और सामाजिक कार्यकर्ताओं से आगे भी ऐसे पुनीत प्रयासों में सहयोग की अपील की। यह आयोजन समाज को यह संदेश देता है कि संवेदना, स्वीकार्यता और सम्मान के साथ हम सब मिलकर दिव्यांगजनों के जीवन में नई उम्मीदों का उजाला भर सकते हैं।
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