परबत्ता प्रखंड के अगुवानी गंगा घाट और अगुवानी बस स्टैंड से परबत्ता बाजार आने-जाने वाले यात्रियों को इन दिनों ई-रिक्शा एवं ऑटो चालकों की मनमानी का सामना करना पड़ रहा है। लगभग 8 किलोमीटर (अगुवानी घाट से परबत्ता) और 5 किलोमीटर (अगुवानी बस स्टैंड से परबत्ता) की दूरी के लिए चालक मनचाहा किराया वसूल रहे हैं। स्थानीय यात्रियों से 40 रुपए तक, जबकि बाहरी और अनजान यात्रियों से 80 रुपए तक वसूले जाने की शिकायतें लगातार आ रही हैं। बुधवार को ऐसी ही एक घटना सामने आई, जब ई-रिक्शा चालक और यात्रियों के बीच भाड़े को लेकर तीखी नोक-झोंक हो गई। मनीषा कुमारी, रोहित शर्मा और मोहम्मद अली के अनुसार, कम दूरी के बावजूद चालक द्वारा दोगुना किराया मांगा गया। विरोध करने पर चालक ने आक्रामक रवैया अपनाते हुए अभद्र भाषा का इस्तेमाल किया। प्रशासनिक निगरानी का अभाव स्थानीय नागरिकों का कहना है कि यह कोई नई बात नहीं है। प्रशासनिक निगरानी के अभाव में चालकों के हौसले बुलंद हैं। सुबह-शाम अधिक भीड़ होने पर किराया और बढ़ा दिया जाता है। न तो कहीं किराया सूची प्रदर्शित है और न ही परिवहन विभाग के दिशा-निर्देशों का पालन किया जा रहा है। चालक स्थानीय एवं बाहरी यात्रियों के किराए में फर्क कर मनमानी वसूली करते हैं, जिससे अनजान यात्रियों को सबसे अधिक परेशानी उठानी पड़ रही है। यात्रियों ने बताया कि कई चालक बदतमीजी करने से भी बाज नहीं आते। उनका कहना है कि प्रशासन की सख्त कार्रवाई न होने से यह समस्या दिन-प्रतिदिन बढ़ती जा रही है। स्थानीय लोगों ने जिला प्रशासन, परिवहन विभाग और पुलिस से मांग की है कि अगुवानी-परबत्ता मार्ग पर बढ़ती अव्यवस्था आम लोगों के लिए परेशानी का विषय बन चुकी है। यदि समय रहते प्रभावी कदम नहीं उठाए गए, तो स्थिति और गंभीर रूप धारण कर सकती है।
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