पति बोला-पत्नी बन जाती है नागिन, डसने को दौड़ती है:बदला लेने के लिए पुनर्जन्म लिया, एक्सपर्ट बोले- दंपती की बीमारी का इलाज संभव

‘मेरी पत्नी रात होते ही अंधेरे में अपना जिस्म बदल लेती है। जहरीली नागिन बन जाती है। नागिन बनने से पहले जिस्म को लहराती है। इसके बाद मेरे ऊपर आकर डसना शुरू करती है। मैं डर के मारे कांपता हूं। चीखता-चिल्लाता हूं। इसके बावजूद वह मानती नहीं है।’ यह कहना है सीतापुर जिले के महमूदाबाद तहसील के लोधासा गांव के रहने वाले मेराज का। मेराज ने बताया कि नागिन बनकर मेरी पत्नी एक बार मुझे डस चुकी है। एक दिन खेत में पानी लगा रहा था, साथ में वह भी थी। उसी दौरान उसने मुझे काट लिया था। उसके पिता ने 20 साल पहले नाग मारा था मेराज का दावा है कि उसकी पत्नी नसीमन के पिता ने 20 साल पहले एक नाग को मार दिया था। जिसके बाद बदला लेने के लिए नागिन ने जन्म लिया है। अब वो उसी नाग को खोज रही है, जिसकी मौत हो चुकी है। मेराज कहते हैं कि पत्नी से जुड़ी ऐसी कोई जानकारी पहले नहीं थी। पर समय बीतने के साथ कुछ शक हुआ। इस बीच रिश्तेदारों के कहने पर मैं अपने भांजे के साथ उसे लेकर बांसा गया। वहां पर दरखास्त लिखने के बाद जैसे ही मेरी उंगली पकड़ के खड़ी हुई, वह नागिन का रूप लेने लगी। हाथ उठाकर गोल-गोल घूमने और फिर कहने लगी कि उसके पिता ने नाग को मार दिया था। उस समय उसकी मां गर्भवती थी। वही नागिन उसकी मां के गर्भ में आ गई। 20 साल उसने इंतजार किया और अब वह अपने सुहाग का बदला लेगी। पति ने प्रशासन से लगाई गुहार मेराज का कहना है कि उसने पहले घर और परिवार वालों को इसके बारे में बताया, पर उसका बर्ताव नहीं बदला। फिर झाड़-फूंक कराया, उससे भी सुधार नहीं हुआ। इसके बाद मजबूर होकर अब पुलिस औए प्रशासन से गुहार लगाई है। उसकी जान खतरे में है। क्या कोई सच में नागिन बन सकता है, इस पर हमने मनोवैज्ञानिक, मानसिक रोगों का इलाज करने वाले डॉक्टरों से बात की। उन्होंने जो कुछ भी बताया उसे पढ़िए… मानसिक दबाव के चलते खुद की आइडेंटिटी में आता है बदलाव KGMU के मानसिक रोग विभाग के डॉ. आदर्श त्रिपाठी कहते हैं कि मानसिक परिस्थितियों में कई तरीके का दबाव या बदलाव मरीज महसूस करते हैं। कई बार उनके बर्ताव में परिवर्तन हो जाता है। इस तरह के मामले अक्सर हम लोगों के सामने आते हैं कि जब कोई आदमी बहुत ज्यादा तनाव या दबाव में होता है तो अपने आइडेंटिटी में खुद से ही बदलाव महसूस कर लेता है। उसी के अकॉर्डिंग सोचने लगता है। मरीज की जांच और काउंसलिंग जरूरी उन्होंने कहा- मेराज और नसीमन के मामले में क्या हुआ है, इसकी तो सटीक जानकारी नहीं है, क्योंकि इनमें से किसी ने भी मुझसे कंसल्ट नहीं किया है। पर ऐसा संभव है कि दोनों में से कोई एक या फिर दोनों ही ऐसी किसी बीमारी की जद में हों। इसके लिए उनकी जांच और काउंसलिंग करना बेहद जरूरी है। तभी इसका इलाज हो सकेगा। इलाज में देरी ज्यादा घातक अमेरिका के स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी की ग्लोबल टॉप 2% की लिस्ट में जगह बनाने वाले KGMU के साइकेट्री डिपार्टमेंट के एडिशनल प्रोफेसर डॉ. सुजीत कर कहते हैं कि ये एक तरीके का गंभीर डिसऑर्डर है जो दिन के उजाले में दबी रहती है। रात होते ही ये बढ़ जाती है। जैसे-जैसे रात गहरी होती ये और गंभीर रूप ले लेती है। मरीज के लक्षण बेहद गंभीर उन्होंने कहा- कुछ मामलों में इसके लक्षण बेहद गंभीर भी हो जाते है। मेडिकल साइंस में इसका इलाज है पर इसके लिए पूरी डेडिकेशन के साथ इलाज कराना होगा। अब इस मामले में ये दिक्कत किसे है, बिना मेडिकल जांच के फिलहाल कह पाना संभव नहीं है। ऐसे मामलों में इलाज में देरी करना ज्यादा घातक होता है। अब पढ़िए पत्नी ने जो कहा… मेराज की पत्नी नसीमन कहती हैं कि खेत में वो पानी लगा रहे थे। मैं तो बहुत दूर खड़ी थी, इस दौरान उनको भैंसा डोम ने काट लिया था, इसके बाद जिसने उनको झाड़ा है, उस बाबा से पूछ लीजिए कि किसने उन्हें काटा है। असल में ये सब वो दहेज के लिए कर रहे हैं। उन्होंने बताया- मेरे माता पिता ने शादी के समय अपनी हैसियत के हिसाब से दहेज दिया था। अब वो कहते है कि मुझे बुलेट और 50 हजार रुपए चाहिए। इसी के लिए मुझे परेशान कर रहे हैं। झूठा इल्जाम लगा रहे हैं। वो कहते हैं कि यदि मुझे ये सब नहीं मिलेगा तो मैं तलाक दे दूंगा। मेरे पिता बहुत गरीब है, उनके पास अब कोई जमीन भी नहीं बची है कि बेच कर मांग पूरी करें। यह है पूरा मामला, डीएम से की थी फरियाद मेराज (45) सीतापुर के महमूदाबाद तहसील क्षेत्र के लोधासा गांव के रहने वाले हैं। उनकी 2023 में राजपुर थाना क्षेत्र के लालपुरी मजरा अंतर्गत धानगांव की रहने वाली नसीमुन (40) से शादी हुई थी। कुछ दिन बाद ही दोनों के बीच झगड़े होने लगे। तहसील में समाधान दिवस में मेराज ने डीएम को लिखित शिकायत करते हुए बताया- मेरी पत्नी मुझे जान से मारना चाहती है। रात में नागिन बनकर डराती है। कभी भी मेरी हत्या कर सकती है। मेराज की शिकायत सुनकर डीएम अभिषेक आनंद, एसडीएम बालकृष्ण सिंह समेत समाधान दिवस में मौजूद सभी अधिकारी पहले तो चौंक गए। मेराज की पूरी बात सुनने के बाद डीएम के आदेश पर एसडीएम महमूदाबाद ने तत्काल थाने को मामले की जांच का आदेश दिया। —————————- ये खबर पढ़िए… लखनऊ की रिंग रोड बन जाए, इतना पत्थर खोद डाला : जिस अफसर ने कराया खनन, उसे मिली प्राइज पोस्टिंग, एक साल बाद भी जांच नहीं मिर्जापुर में 16 लाख घनमीटर से ज्यादा इमारती पत्थर, गिट्‌टी, सैंड स्टोन और बोल्डर का अवैध खनन कर लिया गया। इससे लखनऊ की पूरी रिंग रोड बन सकती है। प्राइमरी जांच में दोषी पाए गए मिर्जापुर के सीनियर माइनिंग अफसर शैलेंद्र सिंह को प्राइज पोस्टिंग देकर सोनभद्र भेज दिया गया। तेजी से जांच कर रहे अफसर डॉ. मन्नान अख्तर को हटाकर अब जांच विभाग के विशेष सचिव को सौंपी गई है। एक साल से जांच आगे ही नहीं बढ़ी। (पूरी खबर पढ़िए)

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