ब्वायफ्रेंड की खातिर पड़ोसी को मरवाकर पिता-भाइयों को फंसाया:मुरादाबाद में शबनम की तरह फैमिली को खत्म करना चाहती थी स्वाति; क्राइम पेट्रोल देख साजिश रची
मुरादाबाद में पेंटर की हत्या के मामले में रोज नए-नए खुलासे हो रहे हैं। पता चला है कि पेंटर की हत्या जिस युवक ने कराई थी। उसका स्वाति नाम की युवती से प्रेम प्रसंग चल रहा था। स्वाति अपने पूरे परिवार को खत्म कर देना चाहती थी। वजह फैमिली का अफेयर में रोड़ा बनना था। स्वाति ने कई बार अपने पिता और भाइयों को खाने में जहर देने की कोशिश की। नींद की गोलियां खाने में मिलाकर खिलाईं। लेकिन वो अपने मकसद में नाकाम रही। फिर साजिश को अंजाम देने के लिए ब्वॉयफ्रेंड को मदद ली। ब्वॉयफ्रेंड ने अपने पड़ोसी पेंटर की हत्या करा दी। उसके बाद पेंटर के नंबर से पुलिस को कॉल कराई। बाद में इस कत्ल का इल्जाम अपने पिता और भाइयों पर डलवा दिया। स्वाति और उसके ब्वॉयफ्रेंड के दिमाग में ये आइडिया क्राइम पेट्रोल की एक स्टोरी से आया। दोनों अपने मकसद में करीब-करीब कामयाब भी हो गए थे। पेंटर की हत्या में पुलिस ने स्वाति के पिता और दोनों भाइयों के खिलाफ केस दर्ज करके तीनों को हिरासत में भी ले लिया था। लेकिन मुरादाबाद के SSP सतपाल अंतिल को पेंटर की हत्या मामले में शक हो गया था। उन्होंने लखनऊ डॉयल-112 मुख्यालय से कुछ रिकॉर्ड्स मंगाने और पुलिस को कुछ वाइॅस सैंपल लेने का आदेश दिया। इसके बाद सच्चाई सामने आई गई। स्वाति, उसका प्रेमी मनोज और हत्याकांड में मददगार मनोज का रिश्ते के भाई मंजीत को गिरफ्तार करके पुलिस जेल भेज चुकी है। मनोज को पुलिस एनकाउंटर में पैर में गोली भी ली है। आरोपियों से पूछताछ की जा रही है। पूछताछ में कई और खुलासे होने की उम्मीद है। अब पढ़िए सिलसिलेवार ढंग से पूरी कहानी सबसे पहले जानिए कौन है स्वाति मुरादाबाद जिला मुख्यालय से करीब 12 किमी दूर एक गांव है गुरैठा। स्वाति (22) इसी गांव में रहती है। वो 10वीं तक पढ़ी हुई है। उसके परिवार में पिता शोभाराम(60), मां रामदेई( 50), भाई कपिल (26 साल) और गौरव (24) हैं। पिता की गांव में परचून की दुकान है। बड़ा भाई गांव से कुछ दूरी पर मौढ़ा का चौराहा पर डॉक्टरी (अनट्रेंड) की दुकान चलाता है। छोटा भाई गौरव दुकानों पर ब्रेड बटर सप्लाई का काम करता है। बड़े भाई कपिल की शादी हाे चुकी है। गौरव और स्वाति अविवाहित हैं। नाई की दुकान चलाने वाले युवक से एक साल से था अफेयर गुरैठा में स्वाति के घर से कुछ दूरी पर बदायूं के मनोज ने सालभर पहले नाई की दुकान सैलून खोला था। मनोज मूल रूप से बदायूं जिले के बेहटा थाना क्षेत्र में खेड़ादास गांव का रहने वाला है। फिलहाल वो पाकबड़ा में मोहल्ला सैनियों वाला बड़ा मंदिर में राजेश दिवाकर के मकान में किराए पर रहता था। गुरैठा में दुकान करने के दौरान मनोज का स्वाति से अफेयर शुरू हाे गया। पिता की गैरमौजूदगी में स्वाति भी अपने पिता की दुकान पर बैठती थी। इसी दौरान उसकी पड़ोस में दुकान करने वाले मनोज से मुलाकातें होने लगी थीं। फैमिली को नींद की गोलियां देकर रात में ब्वॉयफ्रेंड को छत पर बुलाती थी
पुलिस पूछताछ में स्वाति ने बताया- मनोज से अफेयर शुरू होने के बाद उसके लिए बड़ी समस्या उससे मिलने की थी। इसलिए उसने अपने परिवार को नींद की गोलियां देना शुरू कर दिया था। रात को खाने में वो अपनी फैमिली को नींद की गोलियां मिलाकर देती थी। इसके बाद छत पर अपने ब्वायफ्रेंड मनोज को बुला लेती थी। कुछ महीनों तक तो उसका ये फार्मूला काम करता रहा लेकिन एक दिन फैमिली वालों को उसके और मनोज के अफेयर के बारे में पता चल गया। फैमिली ने बंदिशें लगाई ताे जहर देने की मारने की कोशिश परिवार ने जब स्वाति पर बंदिशें लगाईं तो उसने फैमिली को रास्ते से हटाने के लिए उन्हें खाने में जहर देने की कोशिश की। लेकिन उसका नींद की गोलियां देने वाला राज पहले ही उजागर हो चुका था, इसलिए परिवार चौकन्ना था। स्वाति कई बार कोशिश करने के बाद भी अपने परिवार को जहर देकर नहीं मार सकी। उसने एक बार नींद की गोलियों की ओवरडोज से भी अपने परिवार को खत्म करने की कोशिश लेकिन वो इसमें भी नाकाम रही। मुझे पाना है तो मेरे पापा और भाइयों को रास्ते से हटाओ
स्वाति काफी दिनों से अपने ब्वायफ्रेंड से मिल नहीं पा रही थी। दोनों में सिर्फ फोन पर बातें होती थीं। ऐसे में उसने मनोज से दो टूक कहा कि यदि मुझे पाना है तो मेरे पापा और भाइयों को रास्ते से हटा दो। यदि उन्हें मार नहीं सकते तो किसी केस में उलझाकर जेल भिजवा दो। इसके बाद क्राइम पेट्रोल से मनोज के दिमाग में किसी की हत्या करके गर्लफ्रेंड के पिता और भाइयों को जेल भिजवाने का आइडिया आया। स्वाति को आइडिया पसंद आया और उसने भी इसके लिए हामी भर दी। पापा-भाइयों को जेल भिजवाने के लिए बेगुनाह के कत्ल का प्लान बनाया गर्लफ्रेंड के साथ मर्डर का प्लान तैयार करने के बाद मनोज ने इस योजना में अपने ममेरे भाई मंजीत पुत्र रंजीत निवासी गांव तेलीपुरा थाना डिलारी को भी शामिल कर लिया। मंजीत इन दिनों मझोला के मंडी समिति एकता कालोनी में विजय ठाकुर के मकान में किराए पर रहता है। वो नसीम ज्वैलर्स जुमेरात का बाजार कस्बा पाकबड़ा में काम करता है। 17/18 सितंबर की रात मनोज और मंजीत ने तय किया कि आज गुरैठा के पास जो भी गुरैठा का आदमी मिलेगा उसकी हत्या कर देंगे और फिर उसके नंबर से पुलिस को कॉल करके हत्या का शक स्वाति के पिता और भाइयों पर डाल देंगे। स्वाति फोन पर पूरी योजना और उसके क्रियान्वयन का फीडबैक अपने ब्वायफ्रेंड से ले रही थी। स्वाति का पड़ोसी योगेश मिला, उसी को मार डाला
17 सितंबर की देर शाम मनोज और मंजीत को कैलसा रोड पर अचानक योगेश आता दिखा। पेशे से पेंटर योगेश अपना काम निपटाकर साइकिल से घर लौट रहा था। मनोज और मंजीत भी पहले से योगेश को जानते थे। दोनों ने उसे नया मुरादाबाद में ले जाकर शराब पिलाई। शराब पिलाते वक्त उसके पैग में धोखे से नींद की 8-10 गोलियां मिला दीं। जिससे योगेश को काफी नशा हो गया। योगेश को मोटर साइकिल पर बीच मे बैठाकर जीरो प्वाइंट पुल के नीचे से बागड़पुर से होते हुए मौढ़ा तैय्या के कब्रिस्तानों की तरफ जाने वाले रास्ते पर ले गए। वहां ले जाकर मनोज ने योगेश के ऊपर बैठकर योगेश के हाथ दबा लिए और मंजीत ने ईंट उठाकर उसका सिर कुचल दिया। योगेश बेहोशी की हालत में कह रहा था, मुझे क्यों मार रहे हो। तभी मनोज ने योगेश का गला दबा दिया । जिससे उसकी मौत हो गई। मर्डर के बाद पेंटर के नंबर से UP-112 को कॉल किया
पेंटर योगेश की हत्या करने के बाद मनोज ने उसका मोबाइल नंबर ले लिया। प्लानिंग के अनुसार स्वाति ने ब्वायफ्रेंड को अपने भाई गौरव का फोन नंबर दे दिया था। मनोज ने पेंटर योगेश के नंबर से अपनी गर्लफ्रेंड स्वाति के भाई गौरव को आवाज बदलकर कॉल की। कॉल कटने के बाद गौरव का कॉल बैक भी आया। इसके बाद प्लानिंग के तहत मनोज ने मृतक योगेश के फोन से ही UP-112 पर कॉल की। पुलिस को योगेश बनकर आवाज बदलकर बताया कि गौरव,गौरव का भाई कपिल और शोभाराम ईंट पत्थर से मुझे मार रहे है, मुझे बचा लो। इतना कहते ही कॉल कट की और फोन को लाश के पास फेंककर चले गए। पुलिस लोकेशन पर पहुंची लेकिन किसी ने कॉल रिसीव नहीं की
रात में सूचना मिलते ही डॉयल-112 की टीम लोकेशन पर पहुंची। योगेश के नंबर पर कई बार कॉल भी किया, लेकिन कॉल किसी ने रिसीव नहीं की। इस पर पुलिस भी वहां चली आई। अगले दिन सुबह कुछ दूरी पर ही योगेश की लाश पड़ी मिली। तब डॉयल 112 पर तैनात पुलिस कर्मियों ने रात में मिली कॉल के बारे में बताया। मृतक योगेश के भाई उमेश को इस कॉल के बारे में पता चला। उसे पता चला कि उसके भाई ने मरने से पहले स्वाति के पिता और भाइयों का नाम लिया था तो उसने भी स्वाति के पिता शोभाराम, भाइयों कपिल और गौरव के खिलाफ अपने भाई की हत्या की FIR दर्ज करा दी। पुलिस ने तुरंत तीनों को हिरासत में ले लिया। SSP ने UP-112 से रिकॉर्डिंग मंगाई, आवाज मैच नहीं हुई
स्वाति के पिता और भाइयों को अरेस्ट करके पुलिस पेंटर योगेश की हत्या का खुलासा करीब-करीब कर ही चुकी थी। लेकिन आरोपियों को जेल भेजने से पहले मुरादाबाद के SSP सतपाल अंतिल ने स्वाति के पिता और भाइयों से खुद पूछताछ करने का फैसला किया। पूछताछ के बाद कप्तान को लगा कि कहानी उतनी सिंपल नहीं है जितनी दिखाई दे रही है। उन्होंने डॉयल 112 से उस कॉल की रिकॉर्डिंग मंगवाने के निर्देश दिए जो 17 सितंबर की रात को मृतक योगेश के नंबर से 112 को की गई थी। योगेश के वाइस सैंपल से मैच किया गया तो पता चला कि कॉल योगेश के नंबर से की जरूर गई थी लेकिन आवाज योगेश की नहीं थी। इसी पूछताछ और तहकीकात के दौरान पुलिस को स्वाति और मनोज के अफेयर के बारे में पता चला। मनोज को खोजा गया तो वो घटन के बाद से गांव से गायब था। रविवार रात एनकाउंटर में पकड़ा गया मनोज तो कबूला गुनाह
पुलिस की टीमें मनोज को ढूंढ ही रही थीं। उधर, स्वाति का पिता और भाई भी पुलिस हिरासत में ही थे। रविवार की रात को करीब 10 बजे पाकबड़ा पुलिस को चेकिंग के दौरान एक बाइक पर सवार मनोज और उसका ममेरा भाई मंजीत नजर आए। पुलिस ने रोकना चाहा तो मनोज ने पुलिस पर गोली चला दी। पुलिस की जवाबी कार्रवाई में एक गोली मनोज के पैर में लगी और वो गिर गया। पुलिस ने मनोज और उसके साथी मंजीत दोनों को अरेस्ट कर लिया।
दोनों से पूछताछ की गई तो इन्होंने अपना गुनाह कबूल कर लिया। मनोज के पकड़े जाते ही पुलिस ने स्वाति को भी अरेस्ट किया मनोज और उसके साथी मंजीत ने पुलिस पूछताछ में बताया कि उनकी पूरी प्लानिंग में स्वाति भी शामिल थी। बल्कि इस पूरी वारदात पटकथा खुद स्वाति ने ही लिखी थी। उसका मकसद किसी भी तरह अपने पिता और भाइयों को जेल की सलाखों में पहुंचाना था। ताकि उनके रास्ते से हटने के बाद वो अपने ब्वायफ्रेंड मनोज के साथ शादी कर सके। खुलासा होने के बाद पुलिस ने स्वाति, उसके ब्वायफ्रेंड मनोज और हत्याकांड में मनोज के मददगार मंजीत को अरेस्ट करके कोर्ट के सामने पेश किया। सोमवार को तीनों को जेल भेज दिया गया है। जबकि स्वाति के पिता शोभाराम और उसके भाइयों कपिल और गौरव को पुलिस ने हिरासत से रिहा कर दिया है।
Source: उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर
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