जिंबॉब्वे में भारत के राजदूत ब्रह्म कुमार अपने पैतृक जनपद हमीरपुर पहुंचे। यहां उन्होंने अपने मित्रों और शुभचिंतकों से मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने भारत और जिंबॉब्वे के आपसी संबंधों पर विस्तार से चर्चा की। राजदूत ब्रह्म कुमार ने बताया कि भारत की विदेश नीति के कारण जिंबॉब्वे एक सशक्त मित्र राष्ट्र के रूप में प्रगति कर रहा है। उन्होंने कहा कि दोनों देशों के बीच व्यापार और निवेश में लगातार वृद्धि हो रही है, और जिंबॉब्वे में भारतीयों की संख्या भी बढ़ रही है। यह भारत की ‘वसुधैव कुटुम्बकम्’ की अवधारणा से प्रेरित विदेश नीति को दर्शाता है। राजदूत ने आगे कहा कि भारत केवल जिंबॉब्वे ही नहीं, बल्कि पूरे अफ्रीकी महाद्वीप के कई देशों के औद्योगिक, आर्थिक और सामाजिक विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। उन्होंने बताया कि अफ्रीका में बसे प्रवासी भारतीय, भारतीय संस्कृति और नैतिक मूल्यों के वाहक हैं। जिंबॉब्वे में भी भारतीयों और भारतीय संस्कृति को बहुत सम्मान दिया जाता है। ब्रह्म कुमार ने ‘विकसित भारत’ की संकल्पना पर भी बात की। उन्होंने कहा कि भारतीय विदेश नीति के आयाम वैश्विक हैं और मित्रता के भाव पर आधारित हैं। प्रधानमंत्री के नेतृत्व में ‘विकसित भारत’ की सोच पर विश्व के कई देशों ने विश्वास जताया है। उल्लेखनीय है कि ब्रह्म कुमार हमीरपुर जनपद के टेढ़ा गांव के मूल निवासी हैं। उन्होंने राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय, कुछेछा से स्नातक और इलाहाबाद विश्वविद्यालय से प्राचीन इतिहास में परास्नातक की शिक्षा प्राप्त की। वर्ष 2005 में उन्होंने भारतीय विदेश सेवा (IFS) में प्रवेश किया। अपनी सेवा के दौरान उन्होंने काहिरा, मस्कट, कुआलालंपुर और टोक्यो स्थित भारतीय दूतावासों में कार्य किया। वर्तमान में वे जिंबॉब्वे में भारत के राजदूत के पद पर कार्यरत हैं। इस अवसर पर राजकुमार शुक्ला, डॉ. आशुतोष त्रिपाठी, राहुल, अभिषेक त्रिपाठी, राजेंद्र प्रजापति और सत्येंद्र अग्रवाल सहित कई अन्य लोग उपस्थित थे।
https://ift.tt/L3y4C1s
🔗 Source:
Visit Original Article
📰 Curated by:
DNI News Live

Leave a Reply