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KGMU में कट्‌टरपंथी एक्टिविटी की जांच शुरू:लव जिहाद करने वाला डॉक्टर फरार, महिला आयोग बोला- जमीन से भी खोदकर निकाल लेंगे

KGMU में धर्मांतरण मामले को लेकर गठित जांच कमेटी ने कट्टरपंथी गतिविधियों की जांच शुरू कर दी है। कमेटी 7 दिन में अपनी रिपोर्ट कुलपति को सौंपेगी। उसी के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। दूसरी ओर लव जिहाद करने वाला रेजिडेंट डॉक्टर रमीजुद्दीन नायक उर्फ रमीज मलिक फरार है। पुलिस की कई टीमें उसे पकड़ने के लिए दबिश दे रही हैं। एक टीम उत्तराखंड के खटीमा भेजी गई थी, लेकिन उसे खाली हाथ लौटना पड़ा। उसके बाद अब संभावित ठिकानों पर दबिश और बढ़ा दी गई है। वहीं, शनिवार को महिला आयोग की अध्यक्ष KGMU पहुंचीं। उन्होंने कहा- आरोपी अंडरग्राउंड भी होगा तो उसे जमीन से खोदकर निकाल लेंगे। पूरा पैथोलॉजी विभाग जांच के घेरे में
मामले के तूल पकड़ने के बाद वीसी ने शोकॉज नोटिस भेजकर कट्टरपंथी गतिविधि चलने का जिक्र किया। उसके बाद KGMU प्रशासन ने पूरे पैथोलॉजी विभाग पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। कुलपति ने शुक्रवार को कट्टरपंथी गतिविधियों और विभागीय भूमिका की जांच के लिए 5 सदस्यीय समिति का गठन किया। टीम में प्रो. केके सिंह, एमएस डॉ. सुरेश कुमार, प्रॉक्टर डॉ. आरएएस कुशवाहा, डॉ. सुमित रूंगटा भी शामिल हैं। समिति ने शनिवार को अपनी जांच शुरू कर दी है। समिति को 7 दिन में रिपोर्ट सौंपनी होगी। इस दौरान पैथोलॉजी विभाग के एक फैकल्टी मेंबर की छुट्टी रद्द कर दी गई है। उन्हें लखनऊ न छोड़ने की सलाह दी गई है। विभाग के HOD पिछले कई दिनों से कॉन्फ्रेंस के सिलसिले में लखनऊ से बाहर हैं। इससे विभाग में अफरा-तफरी का माहौल है। हालांकि, प्रवक्ता डॉ. केके सिंह ने कहा है कि HOD एक कॉन्फ्रेंस को अटेंड करने चेन्नई गए हैं। बहुत जल्द कैंपस में होंगे। पैथोलॉजी विभाग के कुछ फैकल्टी मेंबर्स पर गंभीर आरोप
KGMU प्रवक्ता डॉ. केके सिंह ने बताया कि पैथोलॉजी विभाग के कुछ फैकल्टी मेंबर्स पर कई संगीन आरोप लगाए गए हैं। इन आरोपों की सत्यता परखना बेहद जरूरी है। इन पर आरोपी डॉक्टर के पक्ष और पीड़ित के विरोध में लॉबिंग करने का आरोप है। एक वर्ग विशेष के लोगों को प्रमोट करने के साथ उनको तवज्जो देने की बात भी कही गई है। कुलपति द्वारा इस घटनाक्रम को बेहद संवेदनशीलता के साथ लिया गया है। आरोपी फैकल्टी मेंबर्स के खिलाफ जांच शुरू की गई है। जांच रिपोर्ट के आधार पर आगे की कार्रवाई होगी। आरोपी डॉक्टर के मां-बाप से 4 घंटे हुई पूछताछ
शुक्रवार को चौक थाना पुलिस ने आरोपी डॉक्टर के मां-बाप से करीब 4 घंटे तक पूछताछ की। उन्होंने पीड़ित महिला डॉक्टर के बारे में जानकारी होने से इनकार कर दिया। हालांकि, उन्होंने यह जरूर कहा कि यदि रमीज शादी करना चाहे, तो उन्हें कोई आपत्ति नहीं है। कोर्ट में अवकाश के कारण पीड़ित का मजिस्ट्रियल बयान अब तक दर्ज नहीं हो सका है। KGMU प्रवक्ता डॉ. केके सिंह ने बताया कि पीड़ित महिला डॉक्टर का मेडिकल हो चुका है। पुलिस के सामने बयान भी दर्ज कराया गया है। मजिस्ट्रियल बयान पीड़िता के विवेक पर निर्भर है। नोएडा गई पुलिस टीम, पैथोलॉजी डिपॉर्टमेंट भी खंगाला
FIR दर्ज होने के बाद शुक्रवार को चौक पुलिस की टीम KGMU कैंपस पहुंची। पैथोलॉजी विभाग का निरीक्षण किया। KGMU प्रशासन का कहना है कि पुलिस को जांच में पूरा सहयोग दिया जा रहा है। पुलिस की एक टीम नोएडा रवाना हुई है, जहां वह उस युवती का बयान दर्ज करेगी, जिस पर डॉ. रमीज द्वारा धर्मांतरण कराकर निकाह करने का आरोप है। बताया जा रहा है कि युवती वहां एक संस्थान में एमडी की छात्रा है। उसके बयान के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। महिला आयोग की अध्यक्ष ने वीसी से स्टेटस पूछा
KGMU में चल रहे हालिया प्रकरण को लेकर राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष बबीता चौहान शनिवार शाम 4 बजे वीसी डॉ. सोनिया नित्यानंद से मिलने पहुंची। यहां उन्होंने मुलाकात का पूरे प्रकरण का अब तक स्टेटस पूछा। साथ ही कहा कि तथ्यात्मक जांच के साथ कठोर एक्शन लें। चौहान ने कहा कि इतनी बड़ी यूनिवर्सिटी में ऐसी घटना होना सामान्य बात नहीं है। ऐसा लगता है कि कुछ लोग आरोपी के मददगार होंगे। वे और आरोपी जहां कहीं भी होंगे, उन्हें जमीन से खोदकर बाहर निकाल लेंगे। मेरा यह मानना है कि लव जिहाद जैसी घटनाएं, कैंसर से भी घातक बीमारी हैं। इनके इलाज में देरी कतई ठीक नहीं है। विशाखा कमेटी महिला आयोग को सौंप चुकी अपनी रिपोर्ट वहीं, यूनिवर्सिटी प्रशासन ने धर्मांतरण प्रयास से जुड़ी विशाखा कमेटी की जांच रिपोर्ट राज्य महिला आयोग को सौंप चुकी है। विशाखा कमेटी ने आरोपी रेजिडेंट डॉक्टर को जांच में दोषी पाते हुए निलंबन की सिफारिश की थी। इसके बाद आरोपी को सस्पेंड कर परिसर में प्रवेश पर रोक लगा दी गई थी। अब पढ़िए NMO ने जो आरोप लगाए थे… NMO का आरोप- रोहिंग्या को दी नौकरी
NMO ने मंगलवार को KGMU में प्रदर्शन किया था। कैंडल मार्च निकाला था। NMO का आरोप है कि बायो मेडिकल वेस्ट विभाग में बड़ी संख्या में रोहिंग्याओं को संविदा पर काम दिया गया है। ऐसे में बायो मेडिकल वेस्ट मैनेजमेंट विभाग की जांच कराई जाए। अगर वास्तव में वहां रोहिंग्याओं को नौकरी दिया गया है, तो उन्हें चिह्नित करके निकाला जाए। जिन लोगों ने इन्हें नौकरी पर रखने के लिए एजेंसियों पर दबाव बनाया था, उन पर भी कार्रवाई हो। आरोपी का साथ देने वालों की पहचान की जाए
NMO ने आरोपी डॉ. रमीज की डिग्री रद्द करने के लिए NMC से संस्तुति करने की मांग की है। कहा है कि KGMU उसका NEET पीजी का दाखिला रद्द करने की सिफारिश भी करे। NMO पदाधिकारियों ने ये भी मांग की है कि पैथोलॉजी विभाग के उन फैकल्टी मेंबर्स की पहचान की जाए, जो शुरुआत में इस मामले में पीड़ित के बजाय आरोपी का साथ दे रहे थे। इन डॉक्टरों की निष्ठा की जांच होनी चाहिए। अब पढ़िए पूरा मामला… पीड़ित महिला डॉक्टर ने सुसाइड की कोशिश की, तब सामने आया मामला
पीड़ित महिला डॉक्टर KGMU से एमडी पैथालॉजी की पढ़ाई कर रही है। 17 दिसंबर को उसने दवा की ओवरडोज लेकर सुसाइड की कोशिश की। उसे गंभीर हालत में KGMU ट्रॉमा सेंटर में भर्ती कराया गया। 19 दिसंबर को उसे डिस्चार्ज किया गया। पीड़िता के पिता ने आरोप लगाया कि KGMU से एमडी पैथालॉजी की पढ़ाई कर रहे डॉ. रमीज ने बेटी को लव जिहाद में फंसाया। उस पर शादी करने के लिए इस्लाम धर्म अपनाने का दबाव बनाया। जबकि, वह पहले से शादीशुदा है। फरवरी में वह हिंदू लड़की का धर्मांतरण कराकर उससे शादी कर चुका है। मुख्यमंत्री और राज्य महिला आयोग में शिकायत की
पीड़ित के पिता ने मामले की राज्य महिला आयोग और मुख्यमंत्री जनसुनवाई पोर्टल पर शिकायत की थी। इसके बाद 22 दिसंबर को राज्य महिला आयोग की उपाध्यक्ष अपर्णा यादव ने पीड़ित के साथ प्रेस वार्ता करके कार्रवाई का आश्वासन दिया। 24 दिसंबर को विशाखा कमेटी की रिपोर्ट आने के बाद KGMU प्रशासन ने डॉ. रमीज को सस्पेंड करके परिसर में प्रवेश पर रोक लगा दिया। आरोपी के खिलाफ के FIR भी दर्ज हो गई। ————— संबंधित खबर भी पढ़िए… धर्मांतरण का आरोपी डॉक्टर लखनऊ से फरार:यूपी पुलिस ने उत्तराखंड पुलिस से साधा संपर्क, MBBS बैचमेट से शादी के मिले साक्ष्य किंग जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (KGMU) में धर्मांतरण का आरोपी डॉक्टर रमीजुद्दीन नायक उर्फ रमीज फरार हो गया है। यूपी पुलिस उसे खोज रही है। उत्तराखंड पुलिस से भी संपर्क साधा गया है। उधर, यूनिवर्सिटी की सेक्सुअल हैरेसमेंट जांच टीम भी उससे 2 दिन से संपर्क करने की कोशिश कर रही है लेकिन वह सामने नहीं आया। पूरी खबर पढ़ें


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