मेरठ की मुस्कान को संभल की रूबी ने मात दे दी। प्रेमी के साथ मिलकर पति की ग्राइंडर से चार टुकड़े कर दिए, बैग में सिर और हाथ-पैर भरकर बच्चों को गंगाजी ले गई, प्रेमी के सामने ही बच्चों को बैग में मंदिर की खंडित प्रतिमा बताकर उसे राजघाट गंगा में फेंक दिया। पति की हत्या करने के बाद मां बच्चों से बोली खंडित प्रतिमाओं की पूजा नहीं करते हैं। इन्हें गंगा जी में ही फेंका जाता है। पकड़ने जाने के बाद जेल जाते समय रूप बेटी से लिपटकर खूब रोई। मामला संभल की चंदौसी कोतवाली क्षेत्र के मोहल्ला चुन्नी का है। 18 नवंबर से लापता था राहुल, 15 दिसंबर को मिला शव पुलिस के अनुसार राहुल पुत्र जसवंत 18 नवंबर से लापता था। 15 दिसंबर की सुबह करीब 9 बजे पतरौआ रोड स्थित ईदगाह के पास एक नाले में छत-विक्षत अवस्था में शव बरामद हुआ। शिनाख्त के बाद मामले की गंभीरता को देखते हुए चंदौसी कोतवाली पुलिस ने जांच तेज की और पत्नी रूबी व उसके प्रेमी गौरव को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। पत्नी ने कबूला जुर्म एसपी कृष्ण कुमार बिश्नोई ने बताया कि इस हत्याकांड में पुलिस की ओर से स्वतः मुकदमा दर्ज किया गया है। पूछताछ में रूबी ने जो घटनाक्रम बताया, उसे सुनकर पुलिसकर्मी भी स्तब्ध रह गई। आरोपी पत्नी ने स्वीकार किया कि 18 नवंबर को पति की हत्या कर शव घर में छिपा दिया गया था। अगले दिन 19 नवंबर को शव ठिकाने लगाने के लिए घंटाघर मार्केट से प्लास्टिक की पन्नियां और दो बैग खरीदे गए। शव के टुकड़े करने के लिए प्रेमी गौरव इलेक्ट्रिक ग्राइंडर कटर मशीन लेकर आया। इसी मशीन से गर्दन और पैर अलग किए गए। बच्चों को गुमराह कर गंगा में फेंके शव के हिस्से आरोप है कि गर्दन और पैर एक बैग में पैक किए गए, जबकि धड़ को दूसरे बैग में रखा गया। इसके बाद 3500 रुपए में वाहन किराए पर लेकर रूबी, गौरव और दोनों बच्चे राजघाट गंगा घाट पहुंचे। बच्चों के सामने ही एक बैग गंगा में फेंक दिया गया। जब बच्चों ने सवाल किया तो मां ने उन्हें यह कहकर बहला दिया कि उसमें खंडित मूर्तियां थीं, जिन्हें गंगा में प्रवाहित किया जाता है।गंगा से लौटने के बाद रात में धड़ वाला बैग पतरौआ रोड स्थित ईदगाह के पास नाले में फेंक दिया गया। मृतक राहुल मूल रूप से थाना रजपुरा क्षेत्र के कस्बा गंवा का रहने वाला था। उसके माता-पिता का पहले ही निधन हो चुका था और वह इकलौता पुत्र था। करीब 15 वर्ष पहले उसने रूबी से प्रेम विवाह किया था। शादी के तीन साल बाद दंपती चंदौसी के मोहल्ला चुन्नी में आकर रहने लगे। राहुल पहले राजमिस्त्री था, बाद में जूते का व्यवसाय करने लगा। दंपती के दो बच्चे हैं, बड़ा बेटा 12 वर्ष और बेटी 10 वर्ष की है। जेल जाते समय बेटी को लिपटकर रोई चंदौसी कोतवाली से जेल ले जाते समय रूबी अपनी बेटी से लिपटकर रोती नजर आई, वहीं पुलिस जीप में गौरव अपनी गोद में मासूम भांजी को लेकर फूट-फूटकर रोता दिखा। बच्चों के सामने जेल जाते वक्त दोनों आरोपियों के चेहरों पर पछतावा साफ नजर आया। एसपी कृष्ण कुमार बिश्नोई ने कहा कि दोनों आरोपियों के खिलाफ साक्ष्य मजबूत हैं और पुलिस जल्द से जल्द न्यायालय में प्रभावी पैरवी कर कड़ी सजा दिलाने की कार्रवाई करेगी।
https://ift.tt/S5NU6KI
🔗 Source:
Visit Original Article
📰 Curated by:
DNI News Live

Leave a Reply