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बिजनौर DM जसजीत कौर का सरकारी आवास कुर्क होगा:पीड़ित को मिलेगा मुआवजा; मुरादाबाद कोर्ट में 9 जनवरी को तलब

बिजनौर की डीएम जसजीत कौर का आवास कुर्क होगा। यह आदेश शनिवार को मुरादाबाद की LARRA कोर्ट ने दिया। डीएम को अदालत ने 9 जनवरी को तलब किया है। मामला भूमि अधिग्रहण से जुड़ा है। याचिकाकर्ता का आरोप है कि कोर्ट से आदेश के बावजूद डीएम ने जमीन के मालिक को मुआवजा नहीं दिया है। डीएम ने 5 साल से मामले को लटकाकर रखा है। LARRA का मतलब- भूमि अर्जन, पुनर्वास और पुनर्व्यवस्था-पन प्राधिकरण से है। इसे अंग्रेजी में Land Acquisition Rehabilitation and Resettlement Authority कहते हैं। कोर्ट ने रजिस्ट्री की शर्तों को तय करने के लिए 9 जनवरी को डीएम बिजनौर को हाजिर होने का आदेश दिया है। पीड़ित के वकील बोले- डीएम बिजनौर ने नहीं रिपोर्ट
अदालत में वादी उमेश के अधिवक्ता ने बताया- जमीन के मुआवजे के मामले में डीएम बिजनौर की ओर से कोई आख्या भी पेश नहीं की गई। याचिकाकर्ता ने कहा- 13 मार्च, 2020 को मुआवजा देने का फैसला हुआ था, लेकिन कई बार रिमाइंडर देने के बावजूद जिला प्रशासन ने मुआवजे की राशि नहीं दी। भूलवश उसने ट्रेजरी कार्यालय में कुछ शब्द अंकित कर दिए थे। इस मामले में डीएम का आवास कुर्क कर वादी को धनराशि दिलाना आवश्यक है। इसलिए वादी ने अनुरोध किया है कि डीएम बिजनौर के आवास को कुर्क कर मुआवजे का भुगतान कराया जाए। 4 सालों से विचाराधीन मुकदमा
यह मुकदमा चार वर्षों से विचाराधीन था। वादी के अधिवक्ता ने सुप्रीम कोर्ट के राजामणि के निर्णय का हवाला देते हुए तर्क दिया कि प्रत्येक निष्पादन वाद को छह माह के भीतर निस्तारित करना आवश्यक है। पहले ही 41(2) सीपीसी के तहत नोटिस जारी किया जा चुका है और आदेश 21 नियम 37 सीपीसी के तहत कार्यवाही भी की जा चुकी है। इसके बावजूद डीएम ने याचिकाकर्ता को धनराशि का भुगतान नहीं किया। मुरादाबाद की लारा कोर्ट ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद बिजनौर के जिलाधिकारी के सरकारी आवास को कुर्क करने का आदेश जारी किया है। आदेश में यह भी स्पष्ट किया गया है कि इस दौरान कलेक्टर बिजनौर अपने शासकीय आवास को किसी प्रकार से हस्तांतरित नहीं करेंगे और किसी भी आर्थिक लाभ के लिए इसका उपयोग नहीं करेंगे। कुर्क रहने के बावजूद कलेक्टर बिजनौर इस संपत्ति का प्रयोग कार्यालय क्षमता के अनुसार आवास के रूप में करते रहेंगे। डीएम बिजनौर को कुर्क संपत्ति के विक्रय की शर्तों को तय करने के लिए 9 जनवरी 2026 को न्यायालय में उपस्थित होने का आदेश भी दिया गया है। अब जानिए कौन है IAS जसजीत कौर
जसजीत कौर 2012 बैच की IAS अफसर हैं। वह मूल रूप से पंजाब के अमृतसर की रहने वालीं हैं। उनका जन्म 14 अक्टूबर 1984 को हुआ था। उन्होंने जीएनडीयू अमृतसर से अर्थशास्त्र में बीएससी और यूनिवर्सिटी ऑफ मद्रास से कंप्यूटर साइंस में पीजी की डिग्री हासिल की है। वर्तमान में जसजीत कौर बिजनौर की डीएम है। बिजनौर से पहले आईएएस जसजीत कौर की मेरठ में तैनाती थी। सुर्खियों में रहती हैं डीएम जसजीत कौर हाईकोर्ट ने जारी किया था वारंट, 5 जनवरी को पेशी
डीएम जसजीत कौर पहले भी सुर्खियों में रही हैं। पिछले महीने इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ खंडपीठ से बिजनौर की DM जसजीत कौर के खिलाफ वारंट जारी हुआ था। जस्टिस मनीष कुमार ने नाराजगी जाहिर करते हुए बिजनौर के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट यानी CJM को आदेश दिया कि वे 5 जनवरी, 2026 को डीएम जसजीत कौर को हाईकोर्ट में पेश करें। मामला बिजनौर के धामपुर निवासी विक्रम सिंह की याचिका से जुड़ा है। विक्रम सिंह धनगर समाज महासंघ के अध्यक्ष हैं। आरोप है कि बिजनौर डीएम जसजीत कौर ने विक्रम सिंह का जाति प्रमाण पत्र उनके रिटायरमेंट से महज आठ दिन पहले निरस्त कर दिया था। डीएम के इस आदेश को विक्रम सिंह ने हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच में चुनौती दी थी। सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने डीएम बिजनौर के खिलाफ वारंट जारी करते हुए उन्हें पेश करने का आदेश दिया। पढ़ें पूरी खबर… ————— ये भी पढ़ें- प्रेमी-प्रेमिका को छप्पर में पकड़ा, शादी करवाई, VIDEO:प्रयागराज के मंदिर में रस्में, बाइक से विदा हुई दुल्हन प्रयागराज में प्रेमिका से मिलने पहुंचे प्रेमी को गांव वालों ने पकड़ लिया। इसके बाद हंगामा मच गया। मौके पर भीड़ जुट गई। प्रेमी-प्रेमिका के परिवार वालों को बुलाया गया। काफी देर तक कहासुनी होती रही। फिर पंचायत बैठी। पंचायत में दोनों पक्षों की बात सुनी गई। लड़के-लड़की ने भी परिवार और पंचायत के सवालों के जवाब दिए। पढ़िए पूरी खबर…


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