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सड़क किनारे के अवैध ढाबे हादसों की वजह- सुप्रीम कोर्ट:पूछा- इसके लिए कौन जिम्मेदार, एक्सप्रेसवे और नेशनल हाईवे पर बढ़ते एक्सीडेंट रोकने गाइडलाइन बनाएंगे

सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को कहा कि एक्सप्रेसवे और नेशनल हाईवे के किनारे बने अवैध ढाबे और छोटे होटल सड़क हादसों की बड़ी वजह बन रहे हैं। कोर्ट ने सॉलिसिटर जनरल से पूछा कि ढाबे बनने के लिए कौन जिम्मेदार है। साथ ही कहा सड़क हादसों को रोकने के लिए पूरे देश में लागू होने वाली गाइडलाइन बनाने पर विचार करेंगे। कोर्ट ने राजस्थान के फलोदी में 2 नवंबर को हुए सड़क हादसे का जिक्र किया जिसमें 15 लोगों की मौत हो गई थी। जस्टिस जेके महेश्वरी और जस्टिस विजय बिश्नोई की पीठ ने नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता से पूछा कि ऐसे ढाबों पर कार्रवाई के लिए कौन-कौन से नियम हैं और अब तक क्या कदम उठाए गए हैं। सॉलिसिटर जनरल ने बताया कि अवैध ढाबे हटाने का नियम तो है, लेकिन यह जिम्मेदारी अक्सर जिला प्रशासन को दे दी जाती है। स्थानीय पुलिस और प्रशासन उनके अधीन होते हैं, NHAI के नहीं। इसी वजह से समस्या बनी रहती है। एक राज्य की समस्या नहीं, बल्कि पूरे देश का मुद्दा कोर्ट ने कहा कि हर हाईवे या एक्सप्रेसवे पर सर्विस रोड नहीं होती, और बीच-बीच में अवैध ढाबे बन जाते हैं, जहां ज्यादा हादसे होते हैं। अदालत यह जानना चाहती है कि कानून के तहत किसकी जिम्मेदारी है कि ऐसे ढाबे न बनें। अदालत ने साफ किया कि यह किसी एक राज्य की समस्या नहीं, बल्कि पूरे देश का मुद्दा है। इसलिए गाइडलाइन बनाकर कानून की कमियों को दूर किया जाएगा, ताकि फलोदी जैसे हादसे दोबारा न हों। इस मामले में वरिष्ठ वकील ए.एन.एस. नदकर्णी को एमिकस क्यूरी (न्याय मित्र) बनाया गया है। उन्होंने हाईवे पर अतिक्रमण दिखाने के लिए गूगल इमेज भी कोर्ट में दाखिल की हैं। ढाबे बनने से कौन रोकेगा- कोर्ट गौरतलब है कि 2 नवंबर को फलोदी के पास भारतमाला हाईवे पर एक टेम्पो ट्रैवलर खड़े ट्रेलर से टकरा गया था, जिसमें 10 महिलाओं और 4 बच्चों समेत 15 लोगों की मौत हो गई थी। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने खुद इस मामले का संज्ञान लिया था। हालांकि जस्टिस बिश्नोई ने माना कि सर्विस रोड होती हैं, लेकिन यह हर एक्सप्रेसवे और हाईवे पर नहीं होतीं। उन्होंने कहा कि बीच-बीच में अवैध ढाबे और छोटे होटल बन जाते हैं, जहां सबसे ज्यादा हादसे होते हैं। पीठ ने कहा कि एनएचएआई की रिपोर्ट में हाईवे पर अतिक्रमण के लिए स्थानीय ठेकेदारों या प्रशासन को जिम्मेदार ठहराया गया है, लेकिन कोर्ट यह जानना चाहती है कि कानून के तहत कौन-सा प्राधिकरण यह सुनिश्चित करेगा कि ऐसे ढाबे न बनें। ये खबर भी पढ़ें:
फलोदी के मतोड़ा में सड़क हादसा, 15 लोगों की मौत:सड़क किनारे खड़े ट्रेलर में घुसी ट्रैवलर बस, कई घायल जोधपुर रेफर फलोदी जिले के मतोड़ा क्षेत्र में रविवार 02 नबंवर भारत माला रोड पर एक भीषण सड़क हादसे में टूरिस्ट ट्रैवलर बस के खड़े ट्रेलर में जा घुसने से 15 श्रद्धालुओं की मौत हो गई। जबकि 2 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। हादसे के बाद मौके पर चीख-पुकार मच गई और पूरे क्षेत्र में अफरा-तफरी का माहौल बन गया। हादसे में 4 बच्चे, 1 ड्रावर और 10 महिलाओं की मौत हुई है। पढ़ें पूरी खबर…


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