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फुटपाथी दुकानदारों ने निगम कार्यालय पर दिया धरना:मुआवजा-वेंडिंग जोन की मांग, महिला दुकानदार बोली- सरकार के 10,000 रुपए से पेट नहीं भरेगा

दरभंगा शहर के फुटपाथ दुकानदारों ने अपनी समस्याओं और 8 सूत्री मांगों को लेकर बुधवार को नगर निगम कार्यालय पहुंचकर महाधरना दिया। दरभंगा जिला फुटपाथ विक्रेता मजदूर संघ के बैनर तले जुटे दुकानदारों ने आरोप लगाया कि बुलडोजर अभियान के नाम पर फुटपाथ दुकानदारों को बिना वैधानिक प्रक्रिया और बिना वैकल्पिक व्यवस्था के जबरन हटाया जा रहा है, जिससे उनकी रोजी-रोटी पर संकट खड़ा हो गया है। महिला दुकानदार चंद्रा देवी ने कहा कि बुलडोजर अभियान से गरीबों की रोजी-रोटी उजड़ रही है। उन्होंने कहा कि ₹10,000 देकर सरकार समझ रही है कि गरीब का पेट भर जाएगा? परिवार कैसे चलेगा? हम चोरी तो नहीं कर सकते। हमारा होटल आयकर चौक पर था जिसे तोड़ दिया गया। अब हालत यह है कि एक दिन खाना मिलता है, दूसरे दिन सोचते हैं कि कल क्या खाएंगे। अधिकारी ने मुझे थप्पड़ मारा दुकानदार किशन यादव ने कहा कि एक अधिकारी ने जोरदार थप्पड़ मारा। मैंने कहा 6 लोग मेरे ठेले पर काम करते हैं, 20–25 लोगों का घर चलता है। मैंने सिर्फ इतना कहा कि जो लोग खाना खा रहे हैं उन्हें खाने दीजिए, इसके बाद हटा दूंगा। उसी पर मुझे थप्पड़ मार दिया गया। अब तक कान में दर्द है। आरके दत्ता ने कहा कि आज मानवाधिकार दिवस के दिन ही गरीबों के अधिकारों का हनन हो रहा है। उन्होंने कहा कि नगर निगम, अनुमंडल और ट्रैफिक पुलिस प्रशासन लोकतांत्रिक प्रक्रिया की अनदेखी कर रहा है और विरोध करने वालों पर कार्रवाई कर रहा है। मांगें पूरी नहीं हुई तो आंदोलन होगा दिव्यांग दुकानदार बैद्यनाथ कुमार ने कहा कि मेरी छोटी से दुकान से मेरा परिवार चलता था। अब दुकान तोड़ दिया गया है। मैं दोनों पैरों से दिव्यांग हूं, कहां जाकर भीख मांगू? सरकार बताए कि गरीब का क्या होगा? अगर पता होता कि सरकार बुलडोजर चलाएगी, तो कभी वोट नहीं देता। दुकानदारों ने सरकार और प्रशासन से तत्काल हस्तक्षेप की मांग की। धरना में शामिल दुकानदारों ने कहा कि व्यवस्था का विरोध नहीं करते, लेकिन बिना वैकल्पिक स्थान दिए दुकानें तोड़ना अन्याय है। प्रदर्शनकारियों ने चेतावनी दी कि यदि उनकी मांगें पूरी नहीं हुईं तो वे बड़े आंदोलन के लिए बाध्य होंगे। संघ की ओर से 8 सूत्री मांगों में प्रमुख रूप से शामिल हैं। बिना वैकल्पिक व्यवस्था और बिना टाउन वेंडिंग कमेटी (TVC) की अनुशंसा के किसी भी कार्रवाई पर रोक लगे। राज्य सरकार की ओर से 18 सितंबर को जारी निर्देशों के अनुसार वेंडिंग जोन अधिनियम का पूरा लाभ फुटपाथ विक्रेताओं को दिया जाए। टाउन वेंडिंग कमेटी की नियमित बैठक आयोजित हो और 5 वर्ष पूरे होने पर पुनः सर्वे कराया जाए। पीएम स्वनिधि और वेंडिंग प्रमाण पत्र प्राप्त दुकानदारों को अभियान के दौरान हुई क्षति के एवज में मुआवजा दिया जाए। वेंडिंग जोन मार्केट का पुनर्निर्धारण कर निर्माण कार्य जल्द पूरा कर दुकानदारों को स्थान उपलब्ध कराया जाए। अतिक्रमण हटाने से पहले जन सुनवाई एवं लोकतांत्रिक प्रक्रिया का पालन सुनिश्चित किया जाए।


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