अधिवक्ता शेरा जाट (सूर्य प्रकाश) ने उत्तर प्रदेश सरकार के मंत्री सोमेंद्र तोमर पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने मंत्री पर दलितों के पट्टे और अन्य भूमि को धोखाधड़ी से खरीदने का आरोप लगाते हुए उच्च स्तरीय जांच की मांग की है। शिकायतकर्ता के अनुसार, मंत्री सोमेंद्र तोमर ने अपने पद का दुरुपयोग करते हुए मेरठ के कायस्थ गांवड़ी गांव में लगभग 10 करोड़ रुपये की दलितों की पट्टे वाली जमीन को अपनी ट्रस्ट ‘शांति निकेतन’ के नाम करा लिया। यह जमीन मेरठ विकास प्राधिकरण की कॉलोनी के पास स्थित है और आज इसकी कीमत पांच से सात गुना अधिक है। अधिवक्ता ने आरोप लगाया कि इस भूमि की खरीद-बिक्री में प्यारे लाल शर्मा अस्पताल के डॉक्टर और एडीएम प्रशासन की भूमिका संदिग्ध है। उन्होंने यह भी सवाल उठाया कि शांति निकेतन ट्रस्ट के पास इतना पैसा कहां से आया, क्योंकि मंत्री की अध्यक्षता वाली इस ट्रस्ट ने पिछले तीन सालों में 100 करोड़ रुपये से अधिक की भूमि खरीदी है। शिकायत में कहा गया है कि एडीएम प्रशासन ने जिस दिन भूमि बेचने की अनुमति दी, उसी दिन 13 सितंबर 2024 को दस पट्टेदारों की जमीन के बैनामे हो गए। यह प्रक्रिया पद के दुरुपयोग को दर्शाती है। इससे भी अधिक आश्चर्यजनक यह है कि एडीएम प्रशासन की अनुमति मिलने से पहले ही, 11 सितंबर 2024 को लगभग 21 लाख रुपये के स्टाम्प खरीद लिए गए थे। शेरा जाट ने मंत्री सोमेंद्र तोमर और उनकी संस्थाओं की उच्च स्तरीय खुली जांच की मांग की है। उन्होंने चेतावनी दी है कि यदि कार्रवाई नहीं की गई तो वे बड़ा आंदोलन करेंगे।
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