DniNews.Live

Fast. Fresh. Sharp. Relevant News

लखनऊ पसमांदा समाज ने मौलाना मदनी का विरोध किया:अनीस बोले- जिहाद जैसे शब्द समाज को बांटने वाले, जोड़ने की बात करें

लखनऊ में पसमांदा मुस्लिम समाज ने जताई नाराजगी। अध्यक्ष अनीस मंसूरी ने मौलाना महमूद मदनी के हालिया बयान को विवादित और अनावश्यक बताया। उन्होंने कहा- इस बयान ने समाज में नई बहस छेड़ दी है। मंसूरी ने कहा- ‘जिहाद’ जैसे शब्दों को बार-बार सार्वजनिक मंचों पर उठाने से मुसलमानों विशेष रूप से पसमांदा समाज की वास्तविक समस्याएं हाशिए पर चली जाती हैं और समाज में अनावश्यक तनाव फैलता है। मुसलमानों को लाभ के बजाय नुकसान हुआ मदनी के बयान से मुसलमानों को लाभ के बजाय नुकसान हुआ है। ऐसी शब्दावली बहुसंख्यक समाज के मन में गलतफहमियां गहरी करती है। र पूरे समुदाय को संदेह के घेरे में खड़ा करती है। उन्होंने इसे नेतृत्व का गुण नहीं, बल्कि समुदाय को गुमराह करने का तरीका बताया। कोई भी समझदार व्यक्ति ऐसी बयानबाजी से बचता है, जिससे समाज में विवाद जन्म लेता है। चाचा से मतभेद खत्म करें मंसूरी ने कहा- मुसलमानों की असली चुनौतियां रोजगार, शिक्षा, पसमांदा समाज का सामाजिक-आर्थिक पिछड़ापन और सरकारी योजनाओं में बराबरी की हिस्सेदारी है। इन पर ध्यान देने के बजाय विवादित शब्दों पर शोर मचाना समुदाय के साथ नाइंसाफी है। उन्होंने तंज कसते हुए कहा- यदि महमूद मदनी सच में मुसलमानों की एकता की बात करते हैं, तो पहले उन्हें अपने ही चाचा मौलाना अरशद मदनी से मतभेद खत्म करने चाहिए। बयानबाजी का समर्थन नहीं करेगा जब परिवार ही बंटा हो तो पूरे समाज को एकजुट करने की बातें व्यावहारिक नहीं लगती। समुदाय को भाषणों से नहीं, बल्कि नीयत, ईमानदार कोशिश और कर्मों से संदेश दिया जाता है। मंसूरी ने स्पष्ट किया कि पसमांदा समाज किसी भी ऐसी बयानबाजी का समर्थन नहीं करेगा जिससे सामाजिक सौहार्द कमजोर हो या मुसलमानों की सुरक्षा और भविष्य प्रभावित हो।


https://ift.tt/ZwDtQ68

🔗 Source:

Visit Original Article

📰 Curated by:

DNI News Live

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *