सुल्तानपुर जीआरपी ने बुधवार सुबह सुहेलदेव एक्सप्रेस ट्रेन से एक लापता बालक को बरामद किया। यह बालक गाजियाबाद के वैशाली से लापता हुआ था और गलती से ट्रेन में बैठकर सुल्तानपुर पहुंच गया था। पुलिस की सूझबूझ से उसे परिजनों से मिलाया गया। जीआरपी सुल्तानपुर के एसओ भोला शंकर के नेतृत्व में उप निरीक्षक मो. आरिफ, कांस्टेबल अजातशत्रु पाण्डेय और कांस्टेबल कलीम खान सुहेलदेव एक्सप्रेस में नियमित जांच कर रहे थे। इसी दौरान उन्हें 12-13 साल का एक बालक गुमसुम बैठा मिला। पूछताछ में बालक ने बताया कि वह गाजियाबाद का रहने वाला है और गलती से ट्रेन में बैठकर सो गया था। बालक ने अपना नाम कार्तिक डागर, पुत्र परिबिन्दर कुमार, निवासी सेक्टर-4 वैशाली, गाजियाबाद बताया। जीआरपी पुलिस ने उसके बताए मोबाइल नंबर पर परिजनों से संपर्क कर उन्हें सूचित किया। सूचना मिलने पर बालक के पिता परिबिन्दर कुमार सुल्तानपुर जीआरपी थाने पहुंचे। आवश्यक कानूनी औपचारिकताएं पूरी करने के बाद कार्तिक डागर को उनके पिता को सौंप दिया गया। परिवारजनों ने सुल्तानपुर जीआरपी पुलिस के कार्य की सराहना की। बालक के पिता परविंद्र कुमार ने बताया कि कार्तिक मंगलवार शाम लगभग 6 बजे फुटबॉल खेलने के लिए पार्क गया था। इसके बाद वह शौचालय के लिए निकला और कैसे ट्रेन में पहुंचा, इसकी उन्हें जानकारी नहीं है। उन्होंने बताया कि उन्हें बुधवार सुबह 6 बजे बेटे का फोन आया, जिसके बाद वे उसे लेने सुल्तानपुर आए। वैशाली पुलिस ने भी रात 12 बजे तक सीसीटीवी फुटेज देखकर सहयोग किया था। जीआरपी अधिकारी ने बताया कि रूटीन चेकिंग के दौरान सुहेलदेव एक्सप्रेस में एक लड़का गुमसुम मिला था। उसने शुरुआत में अपना नाम-पता बताने में हिचकिचाहट दिखाई, लेकिन बाद में वैशाली, गाजियाबाद का निवासी बताया। उसे थाने लाकर परिजनों से संपर्क किया गया, जिन्होंने पुष्टि की कि बच्चा कल से लापता था और उसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट भी दर्ज कराई गई थी।
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