इटावा में बुधवार को संविधान दिवस पूरे सम्मान और गरिमा के साथ मनाया गया। कचहरी परिसर में मौजूद अंबेडकर पार्क अधिवक्ताओं की भीड़ से खचाखच भरा रहा। जिला बार एसोसिएशन के अध्यक्ष राजेश कुमार त्रिपाठी, महामंत्री नितिन तिवारी, कोषाध्यक्ष प्रभाकर त्रिपाठी समेत पदाधिकारी और बड़ी संख्या में अधिवक्ता सुबह ही पार्क पहुंचे और बाबा साहब डॉ. भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर पुष्पांजलि अर्पित की।माल्यार्पण के बाद आयोजित संक्षिप्त सभा में डीबीए अध्यक्ष राजेश कुमार त्रिपाठी ने कहा कि संविधान केवल कानून की किताब नहीं है, बल्कि भारत के लोकतंत्र की आत्मा है। यह समाज में समता, न्याय और स्वतंत्रता जैसी बुनियादी मान्यताओं को जीवंत रखने वाला सबसे बड़ा दस्तावेज़ है। संविधान दिवस, बाबा साहेब अंबेडकर के उस महान योगदान को स्मरण करने का दिन है, जिन्होंने अपने कठोर परिश्रम और अध्ययन से इस देश को विश्व के सबसे मजबूत संविधान का उपहार दिया। उन्होंने कहा कि “हम सबकी जिम्मेदारी है कि संविधान में निहित आदर्शों, न्याय, सत्य, स्वतंत्रता, समानता और बंधुत्व को अपने आचरण में उतारें। संविधान हमारे लिए केवल एक पुस्तक नहीं, बल्कि हमारी पहचान, हमारी शान और हमारा सर्वोच्च मार्गदर्शक है। सभा में अधिवक्ताओं ने संविधान की प्रस्तावना और मूल्यों पर चर्चा की। इसके बाद सभी अधिवक्ता एकजुट होकर संविधान की रक्षा और उसके आदर्शों पर चलने की सामूहिक शपथ के लिए खड़े हुए। शपथ ग्रहण के दौरान वातावरण पूर्णतः सम्मान और गंभीरता से भरा रहा। संविधान दिवस पर अधिवक्ताओं द्वारा आयोजित यह कार्यक्रम न केवल संवैधानिक मूल्यों के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक रहा, बल्कि समाज में कानून और न्याय की स्थापना के प्रति अधिवक्ता समुदाय की जिम्मेदारी को भी रेखांकित करता दिखा।
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