पीएमसीएच परिसर में करीब 200 करोड़ रुपए की लागत से 200 बेड वाले सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल का भवन दो साल से बनकर तैयार है, लेकिन अस्पताल को चालू करने के लिए जरूरी आंतरिक और तकनीकी कार्य पूरे नहीं हो पाए हैं। दीवारों की फिनिशिंग, फ्लोरिंग, बिजली की वायरिंग और वेंटिलेशन सिस्टम जैसे कार्य अब तक नहीं हो सका है। इसके चलते इस भवन में इलाज की सुविधा बहाल नहीं हो पा रही है। ऐसे में पीएमसीएच प्रबंधन इस अस्पताल को ससमय शुरू करने में विफल हुआ है। यह अस्पताल 18 महीने में बनाने थे, पर पांच साल में भी नहीं बन सका है। यही नहीं, इस हॉस्पिटल के लिए 70 करोड़ के चिकित्सीय उपकरण भी खरीदे गए थे, लेकिन इसे रखने की जगह नहीं मिली है। इस कारण अधिकतर उपकरण को लौटा दिया गया है। इससे उपकरण लगाने और परीक्षण का काम रुका रहा। क्रिटिकल केयर यूनिट और ऑपरेशन थिएटरों के लिए आवश्यक ऑक्सीजन गैस पाइपलाइन और अग्निशमन प्रणाली जैसे कार्य पूरे नहीं हुए हैं। निर्माण एजेंसी सीपीडब्ल्यूडी को इस संबंध में कई बार अल्टीमेटम दिया गया है। बावजूद अभी भी आंतरिक कार्य अधूरा है। अस्पताल चालू होगा तो ये सुविधाएं मिलेंगी सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल के चालू होने से मरीजों को उच्च स्तरीय इलाज की सुविधाएं मिलेंगी। राज्य के मरीजों को इलाज के लिए बाहर नहीं जाना पड़ेगा। निजी अस्पतालों के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। मरीजों को फायदा होगा बड़े ऑपरेशन और जटिल बीमारियों का इलाज गरीब मरीजों को निजी अस्पतालों के भारी खर्च से राहत एमआरआई-सीटी स्कैन जैसी महंगी जांचें मुफ्त/कम खर्च में गंभीर मरीजों के लिए अलग सुपर स्पेशियलिटी इमरजेंसी सेवा गंभीर मरीजों को अन्य बड़े शहर नहीं जाना होगा ये सुविधाएं मिलेंगी 06 अत्याधुनिक ऑपरेशन थिएटर 200 बेड का होगा यह अस्पताल 24 गुना 7 घंटे इमरजेंसी सेवा मुफ्त एमआरआई और सीटी स्कैन क्रिटिकल केयर यूनिट आधुनिक लैब व डायग्नोस्टिक सेंटर आठ सुपर स्पेशियलिटी विभाग काम करेंगे 1. नेफ्रोलॉजी 2. यूरोलॉजी 3. एंडोक्राइनोलॉजी 4. न्यूरोलॉजी 5. हेमेटोलॉजी 6. न्यूनेटोलॉजी 7. क्रिटिकल केयर मेडिसिन 8. गैस्ट्रो- पेट से जुड़ी बीमारी। 200 करोड़ की लागत से 200 बेड का अस्पताल बनना है 2019 में शिलान्यास, अब तक काम अधूरा इस सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल को बनाने का काम पांच साल पहले शुरू किया गया था। पर, अभी तक यह अस्पताल निर्माणाधीन है। इस अस्पताल का शिलान्यास 2019 में हुआ था और 18 महीने में इसे पूरा कर लेना था। लेकिन, पांच साल से अधिक समय बीत जाने के बाद भी इसे शुरू नहीं किया जा सका है। इस अस्पताल के शुरू होने से प्रधानमंत्री जन सुरक्षा योजना (पीएमएसएसवाई) के तहत लोगों को सस्ती और उच्च स्तरीय चिकित्सा सुविधा मिल सकेगी। अगले साल तक अस्पताल शुरू होने की उम्मीद : पीएमसीएच के प्रभारी प्राचार्य डॉ. भूपेंद्र नारायण ने बताया कि इस अस्पताल के निर्माण में शुरुआती अड़चनें थीं, लेकिन इन्हें दूर कर लिया गया है। अब कार्य तेजी से हो रहा है। अस्पताल शुरू करने के लिए आवश्यक तैयारियां अंतिम चरण में है। उम्मीद है कि वर्ष 2026 के पहले तिमाही में यह शुरू हो जाएगा।
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